नई दिल्ली: प्रधानमंत्री मोदी को भूमिगत संसाधनों का दोहन करना चाहिए, सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों और बैंकों को स्वायत्तता प्रदान करनी चाहिए और गरीबी उन्मूलन के लिए सभी आधार कार्ड धारकों को 2 लाख रुपये तक का ऋण देना चाहिए. यह बातें स्क्रैप मेटल डीलर से अरबपति धातु व्यवसायी बने अनिल अग्रवाल ने कहा.
उन्होंने कहा कि मोदी सरकार के अंतर्गत भारत सतयुग में है जहां दरबारी खत्म हो गये हैं और केवल काम करने वालों को मान्यता मिल रही है.
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पीटीआई भाषा से बातचीत में उन्होंने कहा कि पर्यटन और उद्योग को बढ़ावा देने के लिये जिला कलेक्टरों को व्यापार विकास प्रबंधन बनाया जाना चाहिए. साथ ही आय और रोजगार सृजित करने के लिये स्मारकों, किलों और समुद्री तटों को स्वायत्त बनाया जाना चाहिए.
अग्रवाल ने कहा, "भारत की कहानी लोकप्रिय फिल्म 'मदर इंडिया' की कहानी है जहां किसान 100 क्विंटल अनाज उगाते हैं लेकिन 80 क्विंटल सूदखोर ले लेते हैं. यही मामला भारत के साथ है जहां हमारी आय का 50 प्रतिशत हिस्सा आयात पर खर्च करते हैं. उसके बाद कर्ज पर ब्याज भुगतान में राशि जाती है. इससे लगभग कुछ नहीं बचता."