नई दिल्ली :संसद का शीतकालीन सत्र अनिश्चित काल के लिए स्थिगित कर दिया गया. लोकसभा की कार्यवाही आज शुक्रवार को अनिश्चित काल के लिए स्थगित कर दी गई. स्पीकर ओम बिरला ने बताया कि वर्तमान सत्र के दौरान लोक सभा में 9 सरकारी विधेयक पेश किए गए तथा कुल मिलाकर 7 विधेयक पारित हुए. सत्र के दौरान सदस्यों ने अविलंबनीय लोक महत्व के 374 और नियम 377 के तहत 298 मामले सदन में उठाए. लोक सभा अध्यक्ष ने बताया कि सत्र के दौरान सरकार के मंत्रियों द्वारा 43 वक्तव्य दिए गए, 1811 पत्रों को सभा पटल पर रखा गया. उन्होंने सदन की कार्यवाही में सहयोग करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, संसदीय कार्य मंत्री और सभी दलों के नेताओं के प्रति आभार भी व्यक्त किया.
लोक सभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि सदन की बिजनेस एडवाइजरी कमेटी में कामकाज को लेकर फैसला होता है जिसमें सभी दलों के नेता शामिल होते हैं. इसके साथ ही बिरला ने यह भी कहा कि बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक में सभी दलों की सहमति से ही सत्र के जल्दी समापन का फैसला किया गया. दरअसल, कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने सत्र के छोटा होने पर सवाल उठाते हुए कहा था कि उनकी सरकार के कार्यकाल के दौरान संसद का शीतकालीन सत्र आमतौर पर 15 नवंबर के आसपास शुरू हो जाया करता था और यह 5-6 सप्ताह का सत्र हुआ करता था लेकिन संसद का वर्तमान सत्र जानबूझकर देर से शुरू किया गया. थरूर ने आगे कहा कि दिसंबर का एक सप्ताह बीत जाने के बाद सत्र शुरू किया गया. उन्होंने सत्र के दौरान बेरोजगारी, महंगाई, चीन सीमा के हालात और भारत की सुरक्षा जैसे महत्वपूर्ण मसलों पर भी चर्चा नहीं कराने का आरोप लगाया.
विपक्ष के आरोपों को लेकर पूछे गए सवाल का जवाब देते हुए लोक सभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि सदन में कामकाज के मुद्दों और चर्चा के समय को लेकर फैसला सदन की बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक में लिया जाता है जिसमें सभी दलों के नेता शामिल होते हैं. अध्यक्ष ने यह भी कहा कि बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक में सभी दलों की सहमति से ही सत्र के जल्दी समापन का फैसला किया गया. सत्र के दौरान महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की जानकारी देते हुए बिरला ने बताया कि उनका यह प्रयास रहा है कि सदन में सभी दलों के नेताओं को पर्याप्त समय और अवसर मिले.