नई दिल्ली: छह अगस्त को होने वाले उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए मंगलवार को नामांकन की प्रक्रिया आरंभ होने के बाद पहले ही दिन आनंद सिंह कुशवाहा ऊर्फ 'रामायणी चायवाला' सहित पांच उम्मीदवारों के नामांकन पत्र दाखिल किए. इसमें एक उम्मीदवार का नामांकन पत्र खारिज कर दिया गया, क्योंकि एक अनिवार्य दस्तावेज वह सौंपने में विफल रहे. अधिसूचना के मुताबिक, नामांकन पत्र दाखिल करने की अंतिम तारीख 19 जुलाई है. निर्वाचन अधिकारी के कार्यालय से प्राप्त जानकारी के मुताबिक, तमिलनाडु के सलेम जिले के के पद्मराजन, अहमदाबाद के परेशकुमार नानूभाई मुलानी, बेंगलुरु के होसमत विजयानंद और आंध प्रदेश के एन राजशेखर श्रीमुखलिंगम ने उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए नामांकन पत्र दाखिल किए.
नामांकन पत्र दाखिल करने वालों में मध्य प्रदेश के ग्वालियर के रहने वाले 'रामायणी चायवाला' भी शामिल हैं. कुशवाहा ने नामांकन पत्र दाखिल करने के लिए अनिवार्य 15,000 रुपये की जमानत राशि जमा नहीं की. हालांकि, उनके नामांकन पत्र को स्वीकार कर लिया गया. श्रीमुखलिंगम के नामांकन पत्र खारिज कर दिए गए. वह अपने संसदीय क्षेत्र की मतदाता सूची से संबंधित एक प्रमाणित प्रति उपलब्ध कराने में असफल रहे. शेष बचे चार नामांकन पत्रों की 20 जुलाई को जांच की जाएगी. इन सभी नामांकन पत्रों को खारिज कर दिए जाने की पूरी संभावना है, क्योंकि उनके नामांकन पत्रों में 20 प्रस्तावकों और 20 अनुमोदकों के हस्ताक्षर नहीं हैं. मौजूदा उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू का कार्यकाल 10 अगस्त को समाप्त हो रहा है. देश के नए उपराष्ट्रपति 11 अगस्त को शपथ लेंगे.
नामांकन पत्रों की जांच 20 जुलाई को की जाएगी और नाम वापस लेने की आखिरी तारीख 22 जुलाई है. आंकड़ों के लिहाज से उपराष्ट्रपति पद के चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) का पलड़ा भारी है. इस चुनाव में लोकसभा और राज्यसभा के सदस्य मतदान करने के अधिकारी हैं. मनोनीत सदस्य भी इस चुनाव में अपना मत डाल सकते हैं. राजनीतिक दलों ने अभी तक अपने उम्मीदवार के नाम की घोषणा नहीं की है. उपराष्ट्रपति राज्यसभा के सभापति भी होते हैं.