बलिया : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने सोमवार को विपक्षी दलों का नाम लिए बिना कहा कि उत्तर प्रदेश में पांच चरण के चुनाव हो चुके हैं जिसमें पश्चिम से पूरब तक घोर परिवारवादियों को जनता ने नकार दिया है. उत्तर प्रदेश के लोगों ने बता दिया है कि राज्य की गाड़ी अब जात-पात की गलियों में अटकने वाली नहीं है. सोमवार को बलिया जिले में एक चुनावी रैली में महर्षि भृगु को कोटि-कोटि प्रणाम करते हुए मोदी ने अपने भाषण की शुरुआत भोजपुरी में लोगों का अभिवादन करते हुए की.
प्रधानमंत्री ने कहा, 'माता, बहिन, बड़-बुजुर्ग सब कर गोड़ लागत बानि (माताओं, बहनों, बड़े बुजुर्गों को पैर छूकर प्रणाम कर रहा हूं).' प्रधानमंत्री ने कहा, 'उप्र में पांच चरण के चुनाव हो चुके हैं, पश्चिम से पूरब तक घोर परिवारवादियों को जनता ने नकार दिया है, यूपी के लोगों ने बता दिया है कि यूपी की गाड़ी अब जात-पात की गलियों में अटकने वाली नहीं है.' उन्होंने बताया कि इसने विकास के हाइवे पर रफ़्तार भर ली है और जाति से ऊपर उठकर राष्ट्रहित का सम्मान और परिवारवाद का विरोध यही तो बलिया की परिभाषा है.
उन्होंने कहा कि 'बलिया, पूर्वांचल का विकास और उप्र का विकास मेरा कर्तव्य और मेरी प्राथमिकता है, उप्र ने मुझे बहुत कुछ दिया है और इस धरती की संतान के नाते गरीब से गरीब की सेवा का संकल्प लेकर चल पड़ा हूं.' उल्लेखनीय है कि बलिया में 2017 के चुनाव में सात विधानसभा सीटों में पांच सीटों पर भाजपा को जीत मिली थी जबकि बांसडीह से राम गोविंद चौधरी (विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष) और रसड़ा से उमाशंकर सिंह (विधानसभा में बसपा के दल नेता) चुनाव जीते थे.
बैरिया विधानसभा क्षेत्र से पिछली बार भाजपा से चुनाव जीते सुरेंद्र सिंह इस बार टिकट न मिलने पर विद्रोही होकर विकासशील इंसान पार्टी से चुनाव लड़ रहे हैं जबकि पिछली बार बलिया से चुनाव जीते राज्य मंत्री आनन्द स्वरूप शुक्ला का क्षेत्र बदलकर उन्हें बैरिया से मैदान में भाजपा ने उतारा है. बलिया में आनन्द स्वरूप की जगह पार्टी ने इस बार राज्य मंत्री स्वाति सिंह के पति और भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष दयाशंकर सिंह को प्रत्याशी बनाया है. इस समय बलिया जिले में राजनीतिक दांव-पेंच के बीच जातीय गोलबंदी की भी खूब अटकलें हैं.