वैशाली : केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस(Pashupati Kumar Paras) को अपने ही संसदीय क्षेत्र में जबरदस्त विरोध का सामना करना पड़ा. पशुपति पारस केंद्रीय मंत्री और एलजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के रूप में सोमवार को पहली बार हाजीपुर पहुंचे थे. बताया जा रहा है कि चिराग पासवान के समर्थकों ने उनकी गाड़ी पर जला हुआ काला मोबिल फेंका और उन्हें काले झंडे भी दिखाए. यही नहीं पशुपति पारस के काफिले के सामने चिराग पासवान के समर्थन में नारे भी लगाए.
दरअसल, हाजीपुर सांसद और केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस का काफिला चौरसिया चौक पर पहुंचते ही लोगों ने मंत्री जी की कार पर जला हुआ मोबिल फेंक दिया. इस बारे में कुछ लोगों ने यह दावा भी किया कि मोबिल का छींटा पशुपति पारस पर भी पड़ा. जिससे उन्हें कपड़े बदलने पड़े.
इस घटना के बाद सुरक्षाकर्मी बौखला गए. पशुपति पारस को माला पहनाने गई एक महिला कार्यकर्ता लक्ष्मी देवी को जोर का धक्का दे दिया. जिससे वह घायल भी हो गईं. साथ ही कई लोगों को कार से दूर करने के लिए धक्का-मुक्की करने लगे. इससे वहां कुछ देर के लिए भगदड़ भी मच गई.
स्थानीय लोग चौरसिया चौक पर जमकर काला झंडा लेकर मंत्री के खिलाफ नारा लगाते हुए प्रदर्शन करने लगे. जिस कारण थोड़ी देर के लिए चौरसिया चौक के समीप सड़क भी जाम हो गई. हालांकि पुलिस की मुस्तैदी की वजह से विरोध करने वाले लोग तुरंत वहां से हटाये गए.
बता दें कि मोदी मंत्रिमंडल में शामिल होने के बाद पहली बार अपने संसदीय क्षेत्र हाजीपुर पहुंचे केंद्रीय केंद्रीय खाद्य प्रसंस्करण मंत्री पशुपति पारस का एलजेपी (LJP) के कार्यकर्ताओं ने जोरदार स्वागत किया. इस दौरान मीडिया से मुखातिब होते हुए उन्होंने अपने बड़े भाई और पूर्व केंद्रीय मंत्री राम विलास पासवान (Ram Vilas Paswan) को 'भारत रत्न' देने की मांग दोहराई.
पारस ने कहा कि जब तक वे जिंदा रहेंगे हाजीपुर की जनता की सेवा करते रहेंगे और अपने बड़े भाई के अधूरे सपने को पूरा करेंगे. वे आज हाजीपुर की जनता का आभार प्रकट करते हैं, जिनके अपार प्यार व स्नेह के बल पर वे सांसद और भारत सरकार में मंत्री भी बने.