नई दिल्ली : सूत्रों ने बताया कि भारत ने अमेरिका से मेडिकल आपूर्ति मांगी है जिनमें टीके की तैयार खुराकों के साथ-साथ कोविड-19 रोधी टीके के उत्पादन के लिए कच्चा माल भी शामिल है. उन्होंने बताया कि मेडिकल आपूर्ति लेकर एक अमेरिकी विमान के शुक्रवार को यहां पहुंचने की संभावना है जबकि रूसी विमान के बृहस्पतिवार रात तक पहुंचने की उम्मीद है.
कई देश भारत को मेडिकल सहायता भेजने के लिए कदम उठा रहे हैं. जबकि सूत्रों ने बताया कि मदद के लिए अंतरराष्ट्रीय अपील नहीं की गई है और आपूर्ति मुख्यत: इंडियन रेड क्रॉस सोसाइटी के जरिए हो रही है. सूत्रों ने बताया कि भारत ऑक्सीजन संबंधी चीजों एवं अहम दवाइयों को लेकर दूसरों देशों से उम्मीद लगाए हुए है और वह प्रमुख देशों में भारतीय मिशनों को उनकी खरीद पर अपना प्रयास केंद्रित करने को कह चुका है.
उन्होंने कहा कि विदेशी खरीद की पूरी तवज्जो ऑक्सीजन उत्पादक संयंत्र, ऑक्सीजन सांद्रक और छोटे और बड़े ऑक्सीजन सिलेंडरों पर है क्योंकि भारत विभिन्न संयंत्रों से ऑक्सीजन को अस्पतालों में पहुंचाने में परेशानी का सामना कर रहा है. भारत अमेरिका और अन्य देशों से रेमडेसिविर, टोसिलिजुमैब और फेवीपिरवीर जैसी अहम दवाओं की खरीद पर ध्यान केंद्रित कर रहा है.
सूत्रों ने बताया कि कोविड-19 की स्थिति को देखते हुए चीन द्वारा भारत की मदद की पेशकश पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी गई है और चीन से वाणिज्यिक खरीद पर कोई रोक नहीं है. पाकिस्तान के मामले में भी अब तक कोई प्रतिक्रिया नहीं दी गई है. उन्होंने कहा कि भारत सऊदी अरब, सिंगापुर, संयुक्त अरब अमीरात सहित कई देशों से मेडिकल उपकरणों की व्यावसायिक खरीद कर रहा है.