पटना :अपने नए विधायकों के साथ महागठबंधन के नेता तेजस्वी यादव ने बैठक की. उन्हें आने वाले समय में किस तरह से काम करना है और विधानसभा में कैसे अपनी बात रखनी है, इस पर उन्होंने अपने अनुभव साझा किए. तेजस्वी आज इन विधायकों के सामने अभिभावक की भूमिका में ज्यादा दिखे.
महागठबंधन के विधायकों की बैठक में ईटीवी भारत भी मौजूद था. बैठक में अवध बिहारी चौधरी के नाम पर सहमति बनाकर उन्हें स्पीकर पद के लिए चुनाव लड़ने पर फैसला लिया गया.
तेजस्वी ने बैठक की शुरुआत में पार्टी और विधानसभा के अंदर अनुशान बरकरार रखने पर विशेष जोर दिया. उन्होंने कहा कि आपलोगों के सामने बहुत सारी नई चीजें आएंगी. कठिनाइयां भी होंगी, लेकिन आप इससे कभी भी परेशान नहीं होइएगा.
उन्होंने खुद अपना अनुभव साझा किया. तेजस्वी ने कहा कि आप सब लॉ मेकर्स हैं. आपके सामने अलग-अलग चीजें आती रहेंगी. लिहाजा, आपकी जवाबदेही बढ़ जाती है. आगे आपको बहुत ही सावधानी से अपना काम करना होगा.
अपने अनुभव साझा करते हुए तेजस्वी ने कहा कि जब मैं पहली बार विधायक बना था, तो मैंने भी बहुत चीजें सीखीं थीं. उन्होंने कहा कि राजनीति में आप हर दिन नई-नई बातें सीखते रहते हैं. अगर आप विधानसभा की कार्यवाही पर ध्यान देंगे, तो आपको हिंदी भी बहुत कठिन लगेगी. लेकिन धीरे-धीरे आप इससे अवगत हो जाएंगे. मुझे याद है कि जब मेरे ऑफिशियल ने मुझे 'संचिका' देखने की बात कही, तो उस समय मुझे पता नहीं नहीं चला आखिर संचिका क्या होती है. यह बहुत ही छोटी चीज है. इसी तरह से बहुत सारी बातें आएंगी.
26 साल की उम्र में उप-मुख्यमंत्री बने थे तेजस्वी
तेजस्वी 2015 में विधायक बने थे. उसके बाद मात्र 26 साल की उम्र में वह उप मुख्यमंत्री बन गए. 17 महीने तक वह इस पद पर रहे. सड़क एवं परिवहन मंत्री और भवन निर्माण मंत्रालय का कार्यभार संभाला.
2017 में वह प्रतिपक्ष के नेता बने. तेजस्वी के बड़े भाई तेज प्रताप भी उस बैठक में मौजूद थे. कांग्रेस विधायक दल के नेता अजीत शर्मा भी बैठक में उपस्थित थे. राजद के 46 विधायक पहली बार चुनकर आए हैं.
तेजस्वी ने कहा कि एनडीए जिन वादों को लेकर चुनाव में गया था. यह हम सबकी जवाबदेही है कि उन मुद्दों को बार-बार उठाते रहें और सरकार से पूछें कि इनका क्या हुआ. हमारी पहली प्राथमिकता रोजगार का मुद्दा होगा.