नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने शीना बोरा हत्याकांड की मुख्य आरोपी इंद्राणी मुखर्जी को जमानत दे दी है. याचिकाकर्ता यानी इंद्राणी मुखर्जी पर आरोप है कि उसने राहुल मुखर्जी के साथ अपनी बेटी के लिव इन रिलेशन को देखते हुए हत्या की है. हालांकि इससे पहले इंद्राणी मुखर्जी की जमानत याचिका कई बार खारिज की जा चुकी है. इंद्राणी मुखर्जी की गिरफ्तारी उनके ड्राइवर के कबूलनामे के बाद हुई थी, जिसने कहा था कि हत्या में इंद्राणी भी शामिल थीं.
याचिकाकर्ता यानी इंद्राणी मुखर्जी पर आरोप है कि उसने राहुल मुखर्जी के साथ अपनी बेटी के लिव इन रिलेशन को देखते हुए हत्या की है. जो कि पीटर मुखर्जी की पूर्व पत्नी का बेटा है. वरिष्ठ अधिवक्ता मुकुल रोहतगी ने तर्क दिया कि याचिकाकर्ता 6.5 वर्षों से हिरासत में है. उन्होंने कहा कि वह विशेष छूट की हकदार हैं. अभियोजन पक्ष द्वारा 237 गवाहों का हवाला दिया गया, जिनमें से 68 से पूछताछ की जा चुकी है.
पीठासीन अधिकारी 7 जून 2021 से 22 तक अवकाश पर हैं. उन्होंने कहा कि बड़ी संख्या में गवाहों को देखते हुए मुकदमा जल्द पूरा नहीं किया जाएगा. उन्होंने इस अदालत के पहले के फैसलों पर भरोसा किया और तर्क दिया कि लंबे समय से सुनवाई के दौरान उपस्थित अभियुक्तों को जमानत पर रिहा कर दिया गया है. एसवी राजू ने जमानत देने का विरोध किया. उन्होंने कहा कि याचिकाकर्ता के खिलाफ पुख्ता सबूत हैं. सीडीआर से यह भी पता चलता है कि वह अपराध में शामिल थी.
कोर्ट ने कहा कि माना कि याचिकाकर्ता 6.5 साल से हिरासत में है. हम मामले के गुण-दोष पर कोई टिप्पणी करने का इरादा नहीं रखते हैं. हिरासत की अवधि को ध्यान में रखते हुए भले ही 50% गवाहों को छोड़ दिया जाए लेकिन मुकदमा जल्द ही पूरा नहीं होगा. हम निर्देश देते हैं कि याचिकाकर्ता को रिहा किया जा सकता है. हम स्पष्ट करते हैं कि हमने कोई राय व्यक्त नहीं की है.