चमोली (उत्तराखंड): चमोली करंट हादसे से संबंधित एक और जानकारी सामने आई है. दरअसल, हादसे में मारे गये उप-निरीक्षक प्रदीप रावत को एक दिन पहले ही एक अन्य अधिकारी की जगह लेने के लिए अस्थायी रूप से चमोली पुलिस स्टेशन में तैनात किया गया था. हादसे के दिन चमोली पुलिस स्टेशन के कोतवाल कुलदीप रावत को नैनीताल हाईकोर्ट जाना था, जिसके कारण प्रदीप रावत को उनकी अनुपस्थिति में काम की देखरेख के लिए पीपलकोटी से चमोली में तैनात किया गया. उसी दिन चमोली हादसा हो गया. जिसमें प्रदीप रावत की मौत हो गई.
चमोली के सर्किल अधिकारी प्रमोद शाह ने बताया दुर्घटना के दिन, चमोली पुलिस स्टेशन के कोतवाल कुलदीप रावत को हाईकोर्ट जाना था. उनकी जगह प्रदीप रावत को काम की देखरेख के लिए पीपलकोटी से चमोली तैनात किया गया. जिसके बाद बुधवार को प्रदीप रावत को नमामि गंगे के तहत बने सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट में करंट लगने से एक व्यक्ति की मौत की सूचना मिली. वह अपना पंचनामा करने के लिए घटनास्थल पर पहुंचे, लेकिन उसी स्थान पर बिजली का झटका लगने से 14 अन्य लोगों के साथ उनकी मौत हो गई.
सुबह लगभग 11.30 बजे, संयंत्र परिसर में स्थापित धातु की रेलिंग के माध्यम से बिजली का प्रवाह हुआ, जिसमें पुलिस उप-निरीक्षक और तीन होम गार्ड कर्मियों सहित 16 लोगों की मौत हो गई. घटना में दस अन्य के घायल होने की खबर है, जिनमें से छह की हालत गंभीर बताई जा रही है.