कोलकाता: केंद्रीय शिक्षामंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने शनिवार को कहा कि केंद्र सरकार जल्द एक टीम पश्चिम बंगाल भेजेगी जो विभिन्न स्थानों पर मध्यान्ह भोजन (मिड डे मील ) योजना के क्रियान्वयन की सीमक्षा करेगी. भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की बंद दरवाजे में हुई बैठक के बाद प्रधान ने संवाददाताओं से बातचीत के दौरान यह बात कही. उन्होंने कहा कि इस संयुक्त टीम में केंद्र और राज्य के अधिकारी होंगे और टीम के पश्चिम बंगाल आने की घोषणा जल्द की जाएगी.
प्रधान ने कहा, 'अखबारों में हमने मध्यान्ह भोजन (प्रधानमंत्री पोषण योजना) में अनियमितता की कुछ खबरें देखी हैं. पांच जनवरी को पश्चिम बंगाल विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष सुभेंदु अधिकारी ने भी इसी मुद्दे पर बड़े पैमाने पर अनियमितता की जानकारी दी है. वर्ष 2020 से ही राज्य सरकार किसी संयुक्त समीक्षा मिशन (जेआरएम) के दौरे का विरोध कर रही है, लेकिन इसबार हम जेआरएम भेजने के लिए प्रतिबद्ध हैं.'
उन्होंने कहा, 'इस प्रस्तावित टीम में केंद्र और राज्य के अधिकारियों के साथ पश्चिम बंगाल के विशेषज्ञ शामिल होंगे.' अधिकारी ने पांच जनवरी को प्रधान को लिखे पत्र में केंद्रीय शिक्षा मंत्री से अपील की थी कि वह मध्यान्ह भोजन कोष में बड़े पैमाने पर हो रही कथित अनियमितता की जांच के लिए केंद्रीय ऑडिट टीम भेजें. गौरतलब है कि राज्य की ममता बनर्जी सरकार ने हाल में 371 करोड़ रुपये अतिरिक्त बजट मौजूदा मध्यान्ह भोजन के तहत निर्धारित व्यंजनों के अलावा सप्ताह में एक बार बच्चों को चिकन और मौसमी फल परोसने के लिए आवंटित किया है.