मिन्स्क/ कीव :रूस और यूक्रेन के (russia-ukraine war) बीच 12 दिनों से चल रहे युद्ध को लेकर दुनियाभर में टेंशन है. रूस ने द्वितीय विश्व युद्ध के बाद यूरोप में जमीन पर सबसे बड़ी लड़ाई छेड़ रखी है लेकिन उसे अप्रत्याशित कड़े विरोध से जूझना पड़ रहा है. दोनों देशों के बीच दो दौर की वार्ता में कोई हल नहीं निकल सका है. तीसरे दौर की वार्ता पर दुनियाभर की निगाहें लगी रहीं. इस बीच बड़ी खबर ये सामने आई है कि यूक्रेन और रूस के विदेश मंत्री 10 मार्च को तुर्की में मिलेंगे.
तुर्की के विदेश मंत्री मेवलट चावुसोग्लू (Turkish Foreign Minister Mevlut Cavusoglu) ने सोमवार को कहा कि रूस और यूक्रेन के विदेश मंत्री इस सप्ताह तुर्की के तटीय शहर एंताल्या के पास बैठक करेंगे. चावुसोग्लु ने कहा कि वह भी रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव और यूक्रेनी विदेशी मंत्री दमित्रो कुलेबा के बीच होने वाली बैठक में हिस्सा लेंगे जो कि 'त्रिस्तरीय प्रारूप' में होगी. यह बैठक इस सप्ताह एंताल्या में होने वाली एक अंतरराष्ट्रीय कूटनीतिक मंच से इतर होगी. तुर्की के रूस और यूक्रेन दोनों से ही करीबी संबंध हैं और वह दोनों पक्षों के बीच जारी युद्ध को रोकने के मद्देनजर मध्यस्थता करना चाहता है. हालांकि यूक्रेन के विदेश मंत्रालय ने अभी तक इसकी पुष्टि नहीं की है.
दरअसल रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के आदेश पर यूक्रेन में स्पेशल मिलिट्री ऑपरेशन शुरू हुआ था. 11 दिनों की भयानक गोलाबारी के बाद युद्ध के 12वें दिन रूस की सेना ने यूक्रेन के साथ संघर्षविराम का एलान किया है. रूसी सेना का सीजफायर भारतीय समयानुसार आठ मार्च को रात 12.30 बजे से प्रभावी होगा. समाचार एजेंसी एएनआई ने स्पूतनिक के हवाले से बताया है कि फ्रांस के राष्ट्रपति इमानुएस मैक्रों की अपील पर रूसी फौज ने सीजफायर की घोषणा की (French President Emmanuel Macron Russia ceasefire) है. कीव, खारकीव, सूमी और मारियुपोल शहरों में मानवीय संकट गहराने के बीच रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और उनके फ्रांसिसी समकक्ष इमैनुएल मैक्रों के बीच बात हुई. इसी के बाद मानवीय कॉरिडोर खोले जाने पर फैसला हुआ.