श्रीनगर : जम्मू-कश्मीर में पिछले कुछ दिनों में घाटी के बंटवारे को लेकर शहरों और गांवों में कई तरह की अफवाहें फैलाई जा रही हैं, जिससे स्थानीय लोगों में हलचल मच गई है. दरअसल, दो दिन पहले जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और पुलिस प्रमुख दिलबाग सिंह, मुख्य सचिव अर्न कुमार मेहता और पूर्व मुख्य सचिव बीवीआर सुब्रमण्यम नई दिल्ली के लिए रवाना हुए, जहां उन्होंने गृह मंत्री और गृह सचिव के साथ बैठक की.
इस बीच खबर आई कि सीआरपीएफ और अर्धसैनिक बलों की 200 कंपनियां दूसरे राज्यों से जम्मू-कश्मीर में तैनात की जा रही हैं. इससे राजनीतिक और हलकों में हलचल मच गई है.
इस बीच अफवाहें फैल रही हैं कि कश्मीर घाटी को विभाजित किया जाएगा और जम्मू प्रांत को एक अलग राज्य का दर्जा दिया जाएगा.
हालांकि, पुलिस और प्रशासन ने कहा कि ये सिर्फ अफवाहें हैं, जिन्हें जनता द्वारा नहीं माना जाना चाहिए, लेकिन सभी अधिकारियों ने कैमरे के सामने आने से इनकार कर गदिया और नाम न छापने की शर्त पर बात की.
इस बारे में जनरल विजय कुमार ने कहा है कि अर्धसैनिक बलों को पश्चिम बंगाल से जम्मू-कश्मीर वापस लाया जा रहा है.