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एससीओ की बैठक में शामिल होने के लिए राजनाथ मंगलवार को ताशकंद के लिए होंगे रवाना - राजनाथ सिंह रक्षा मंत्री

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह एससीओ की बैठक में हिस्सा लेने के लिए मंगलवार को ताशंकद के लिए रवाना होंगे. शिखर सम्मेलन 15 और 16 सितंबर को समरकंद में होने वाला है, उससे पहले इस बैठक को काफी अहम माना जा रहा है.

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राजनाथ सिंह

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Published : Aug 22, 2022, 10:32 PM IST

नई दिल्ली : रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह मंगलवार को शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) में शामिल देशों के रक्षा मंत्रियों की बैठक में भाग लेने के लिए उज्बेकिस्तान की राजधानी ताशकंद के तीन दिवसीय दौरे के लिए रवाना होंगे. अन्य सदस्य देशों के नेताओं के अलावा चीनी रक्षा मंत्री जनरल वेई फेंघे और रूसी रक्षा मंत्री सर्गेई शोइगु के भी बैठक में भाग लेने की उम्मीद है.

इस प्रभावशाली समूह के वार्षिक शिखर सम्मेलन से लगभग तीन सप्ताह पहले एससीओ की रक्षा मंत्रिस्तरीय बैठक हो रही है. शिखर सम्मेलन 15 और 16 सितंबर को समरकंद में होने वाला है. सिंह ने कहा, 'कल 23 अगस्त को मैं ताशकंद में होने वाली एससीओ में शामिल देशों के रक्षा मंत्रियों की बैठक में भाग लेने के लिए उज्बेकिस्तान में रहूंगा. मैं उज्बेकिस्तान के रक्षा मंत्री लेफ्टिनेंट जनरल निजामोविच के साथ द्विपक्षीय बैठक करूंगा और भारतीय समुदाय के साथ भी बातचीत करूंगा. मुझे इसका उत्सुकता के साथ इंतजार है.'

रक्षा मंत्रालय ने कहा कि सिंह 23-25 ​​अगस्त को ताशकंद की अपनी यात्रा के दौरान एससीओ के कुछ सदस्य देशों के रक्षा मंत्रियों से मुलाकात करेंगे. हालांकि, यह स्पष्ट नहीं है कि सिंह और शोइगु के बीच बैठक होगी या नहीं. पूर्वी लद्दाख में दो साल से अधिक समय से भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच तनाव के कई बिंदुओं पर तल्ख गतिरोध बरकरार है. सिंह 24 अगस्त को एससीओ की बैठक को संबोधित करेंगे.

रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि ताशकंद यात्रा के दौरान रक्षा मंत्री मेजबान देश उज्बेकिस्तान गणराज्य के रक्षा मंत्री लेफ्टिनेंट जनरल बखोदिर कुर्बानोव से मुलाकात करेंगे. एससीओ एक प्रभावशाली आर्थिक और सुरक्षा ब्लॉक है. एससीओ की स्थापना वर्ष 2001 में शंघाई में आयोजित एक शिखर सम्मेलन में रूस, चीन, किर्गीज गणराज्य, कजाकिस्तान, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान के राष्ट्रपतियों ने की थी. भारत को वर्ष 2005 में एससीओ में एक पर्यवेक्षक बनाया गया. वर्ष 2017 में भारत और पाकिस्तान इसके स्थायी सदस्य बने.

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