जयपुर :मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने आज अपने शासनकाल का आखिरी बजट पेश करना तो शुरू किया लेकिन पुराने बजट की कॉपी पढ़ने को लेकर विवाद खड़ा हो गया. विपक्ष के हंगामे के बीच सदन की कार्यवाही को आधे घंटे के लिए स्थगित कर दिया गया है. दरअसल 11:00 बजे मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शायरी के साथ बजट को पढ़ना शुरू किया. गहलोत ने कहा- 'कर्म अगर सच्चाई है तो कर्म कहां निष्फल होगा, हर एक संकट का हल होगा. आज नहीं तो कल होगा'.
गहलोत ने नरेगा, स्कूल शिक्षा, शहरी गारंटी योजना, गरीब परिवारों को राशन सहित कई घोषणाएं भी की. लेकिन इस बीच मुख्य सचेतक महेश जोशी ने मुख्यमंत्री को बजट पढ़ते हुए रोका और उनकी ध्यान में लाया कि यह बजट पुराना है, जिसे वे पढ़ रहे हैं. सदन में जैसे ही विपक्ष को पुराना बजट पढ़ने की जानकारी मिली तो विपक्ष ने हंगामा शुरू कर दिया. करीब 5 मिनट विपक्ष ने जोरदार हंगामा किया.
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इस बीच विधानसभा अध्यक्ष सीपी जोशी ने नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया को कहा कि सदन चलने दें, सदन लेट हो रहा है. जोशी ने करीब 50 बार कहा आईएम ऑन लेग यानी आसान पैरों पर खड़ा है. लगातार स्पीकर के निर्देश के बाद भी विपक्ष ने अपना हंगामा कम नहीं किया. लगातार बढ़ते हंगामे के बीच विधानसभा अध्यक्ष सीपी जोशी ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष के व्यवहार से आहत होकर सदन की कार्यवाही को आधे घंटे के लिए स्थगित करता हूं.
बता दें कि राजस्थान के इतिहास में संभवत यह सब पहला मामला है जब कोई मुख्यमंत्री अपना बजट पेश कर रहा हो और वह बजट को पुराना हो. राजस्थान के इतिहास में पहली बार मुख्यमंत्री का बजट भाषण तीस मिनट के लिए रोका गया. विपक्ष ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री गहलोत ने पुराना बजट पढ़ा. अब बड़ा सवाल यह है कि सीएम के ब्रीफ़केस में पुराना बजट आया कैसे?वित्त विभाग के कई अफ़सरों पर गम्भीर चूक के लिए कार्रवाई हो सकती है.