पलवल: सेना में भर्ती के लिए केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना के खिलाफ हरियाणा में हुए हिंसक प्रदर्शन को लेकर सरकार सख्त रूप में आ गई है. पलवल में प्रदर्शन करने के दौरान हिंसा के आरोप में पुलिस ने करीब एक हजार लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज (FIR on protesters in Palwal) किया है. इनमें से 45 के खिलाफ नामजद एफआईआर की गई है जबकि बाकी आरोपी अज्ञात हैं.
प्रदर्शन के दौरान बवाल करने के आरोप में पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर पुलिसकर्मियों की हत्या के प्रयास, सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और सरकारी काम में बाधा डालने का मामला दर्ज किया है. इसके अलावा जिला उपायुक्त पलवल कार्यालय पर हमले के दौरान पुलिसकर्मियों की राइफल की मैगजीन चोरी करने का आरोप भी लगाया गया है. पुलिस ने हिंसा के बाद ताबड़तोड़ कार्रवाई करते हुए अब तक 30 लोगों को गिरफ्तार किया है.
प्रदर्शन में हुई हिंसा के बाद पूरे पलवल जिले में धारा 144 लागू (section 144 imposed in palwal) कर दी गई है. इसके साथ ही हरियाणा निकाय चुनाव के प्रचार पर भी रोक लगा दी गई है. सरकार ने इस पूरे मामले की जांच के लिए एक स्पेशल इनवेस्टिगेटिंग टीम (एसआईटी) का गठन किया है. ये एसआईटी इस बात की जांच करेगी कि ये प्रदर्शन में हिंसा कैसे हुई. आंदोलनकारियों की अगुवाई कौन कर रहा था.