पटना: शुक्रवार की शाम पूरा देश ओडिशा में हुए ट्रेन हादसे से दहल उठा. ओडिशा के बालासोर में बेंगलुरु- हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस और एक मालगाड़ी की आपस में भिड़ंत हो गई. इस हादसे में अबतक 261 लोगों की मौत हो चुकी है. इसपर आरजेडी ने केंद्र सरकार पर जोरदार हमला किया है.
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RJD ने रेल मंत्री से की इस्तीफे की मांग:आरजेडी ने ट्वीट कर लिखा है 'कवच' में भी कांड हो गया? मोदी सरकार के लिए बस 'वंदे भारत एक्सप्रेस' ट्रेनों में ही इंसान चलते हैं! अगर रेल मंत्री में कुछ नैतिकता और आत्मग्लानि हो तो इतने परिवारों के बर्बाद होने पर तुरंत इस्तीफा दें! #रेलमंत्री_इस्तीफ़ा_दो.
ओडिशा ट्रेन हादसे पर RJD का मोदी सरकार पर जोरदार हमला:अपने एक दूसरे ट्वीट में राष्ट्रीय जनता दल ने लिखा है दुःखद रेल हादसा. एक दौर था जब देश रेल मंत्री का नाम जानता था. रेल बजट अलग पेश होता था. रेलवे का निजीकरण नहीं हुआ था. युवाओं को रेलवे में लाखों नौकरियां मिलती थी. अब कोई रेल मंत्री को नहीं जानता! सारी हरी झंडी केवल और केवल एक आत्ममुग्ध प्रचारमंत्री दिखाता है। #RailAccident
तेजस्वी यादव ने प्रकट की संवेदना: वहीं बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने ट्वीट कर मृतक के परिजनों के प्रति शोक संवेदना प्रकट की है. उन्होंने लिखा है कि ओडिशा में हुए भयानक ट्रेन हादसे से गहरा दुख हुआ. हम पीड़ितों के लिए प्रार्थना करते हैं. आरजेडी इस हादसे को लेकर कवच पर सवाल उठा रहा है. पूछा जा रहा है कि ट्रेन टक्कर सुरक्षा प्रणाली 'कवच' के रहते ऐसा कैसे हो गया?
क्यों उठ रहे 'कवच' पर सवाल:दरअसल मार्च 2022 को स्वदेश निर्मित ट्रेन टक्कर सुरक्षा प्रणाली कवच का सिकंदराबाद में परीक्षण किया गया था, जिसनें केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव भी मौजूद थे. उन्होंने कहा था कि दो ट्रेन एक ही ट्रैक पर आमने-सामने से आ रही हों तो एक सुरक्षित दूरी पर कवच अपने आप उसे रोक देगा.
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क्या है कवच?: कवच एक टक्कर रोधी तकनीक है. यह प्रौद्योगिकी रेलवे को शून्य दुर्घटनाओं के अपने लक्ष्य को हासिल करने में मदद करने की तकनीक है. यह प्रौद्योगिकी माइक्रो प्रोसेसर, ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम और रेडियो संचार के जरिए जुड़ा रहता है. कहा गया था कि यह तकनीक एक निश्चित दूरी के भीतर उसी ट्रैक पर दूसरी ट्रेन का पता लगा सकती है.