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अयोध्या में मुगलकालीन इमारतों का होगा जीर्णोद्धार, 12 करोड़ से ज्यादा होंगे खर्च, जानिए क्या है योजना - नवाबी काल इमारत जीर्णोद्धार

अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा की तैयारियां जोरों पर हैं. इसी के साथ पूरे शहर की तस्वीर बदलने की तैयारी है. प्रदेश सरकार मुगलकालीन इमारतों का जीर्णोद्धार (Mughal period building renovation) कराने जा रही है.

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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Sep 22, 2023, 5:48 PM IST

मुगलकालीन इमारतों की बदलेगी तस्वीर.

अयोध्या :धर्म नगरी में आपको नवाबी काल की झलक देखने को मिल सकती है. यहां की मुगलकालीन इमारतों का जीर्णोद्धार कराया जाएगा. सूबे की सरकार इस योजना पर काम कर रही है. अवध की राजधानी कही जाने वाली इस प्राचीन नगरी में आज भी नवाबी दौर की कई इमारतें मौजूद हैं. योगी सरकार ने रंग-रोगन कर इन्हें चमकाने की मंजूरी दे दी है. इसके बाद इन इमारतों की सूरत बदल जाएगी.

रंगाई-पुताई का काम किया जाएगा.

घंटाघर चौक के चारों तरफ है गेट :शुरूआती चरण में नवाबी काल की अफीम कोठी का संरक्षण व सौंदर्यीकरण शुरू कराने के बाद उस काल में आर्थिक गतिविधियों का केंद्र रहे अवध के नवाब शुजाउद्दौला ने 1765 में घंटाघर चौक के चारों तरफ द्वार बनवाया था. योगी सरकार ने चारों द्वारों के संरक्षण व सौंदर्यीकरण का निर्णय लिया है. इसके लिए 12 करोड़ से ज्यादा की रकम स्वीकृति की है. चारों द्वारों के संरक्षण व सौंदर्यीकरण का जिम्मा कार्यदायी संस्था यूपी प्रोजेक्ट कार्पोरेशन को सौंपा गया है. सरकार की इस योजना को अमली जामा पहनाने के लिए यूपीसीएल ने कवायद शुरू कर दी है. रामलला की प्राण प्रतिष्ठा से पूर्व चारों द्वारों को चकाचक करने की तैयारी है. अयोध्या को पर्यटक नगरी बनाने में जुटी प्रदेश सरकार ने अब इन ऐतिहासिक द्वारों के संरक्षण व सौंदर्यीकरण की सुधि ली है.

गेटों की रंगाई-पुताई कराई जाएगी.

चारों गेटों का होगा सौंदर्यीकरण :डीएम नीतीश कुमार ने बताया कि नवाबी दौर में इस द्वार को बनाने के लिए जिस पदार्थ का उपयोग किया गया था, उसी पदार्थ का उपयोग इसे चमकाने में किया जाएगा. चूना और सुर्खी से ही चारों गेटों का सौंदर्यीकरण कराया जाएगा. गौरतलब है कि नवाबी शासनकाल में राजधानी रही फैजाबाद में शासकों ने आर्थिक गतिविधियों के लिए चौक घंटाघर क्षेत्र का मुगल वास्तु के आधार पर निर्माण कराया था. आर्थिक गतिविधियों के इस केंद्र की सुरक्षा और भव्यता के लिए चौक घंटाघर के चारों तरफ द्वार का निर्माण कराया था.

अयोध्या में नवाबी काल की झलक देखने को मिलेगी.

संरक्षण के अभाव में मिट रही थी पहचान :चौक घंटाघर से गुदडी बाजार जाने वाले मार्ग पर स्थित द्वार को एकदरा, फतेहगंज-बजाजा की ओर जाने वाले मार्ग पर स्थित द्वार को तीनदरा, कोतवाली-गुलाबबाड़ी की ओर जाने वाले मार्ग स्थित द्वार को दोदरा कहा जाता है. रिकाबगंज की ओर जाने वाले मार्ग पर भी एक द्वार का निर्माण कराया गया था. समय के साथ संरक्षण न होने और अतिक्रमण के चलते इन ऐतिहासिक द्वारों की आभा विलुप्त होने लगी थी.

राम मंदिर का निर्माण तेजी से कराया जा रहा है.
प्राण प्रतिष्ठा की तैयारियां भी जोरों पर हैं.

सामाजिक सौहार्द की नगरी बन रही है अयोध्या :ईटीवी भारत से बातचीत में जगद्गुरु रामानंदाचार्य रामदिनेशाचार्य ने कहा कि अयोध्या नगरी गंगा-जमुनी तहजीब की मिसाल रही है. सदियों से यहां दोनों ही धर्म संप्रदाय के लोग आपस में मिल-जुलकर रहते चले आ रहे हैं. अयोध्या में भव्य राम मंदिर का निर्माण हो रहा है. यह पूरे विश्व भर के हिंदुओं के लिए प्रसन्नता का विषय है. इस नगरी की प्राचीन धरोहरों को सहेजने की योगी सरकार की इस कवायद का हम स्वागत करते हैं. सौंदर्यीकरण कहीं का भी हो, मान और प्रतिष्ठा अयोध्या की ही बढ़ रही है, इसलिए सरकार का यह कदम स्वागत योग्य है.

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