शिवपुरी।त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव की विशादें बिछने लगी है प्रत्याशी चुनाव में अपने प्रतिद्वंदी को हराने के लिए साम-दाम-दंड-भेद का प्रयोग कर रहे हैं, लेकिन चुनावी रण में अपने प्रतिद्वंदी को मरा घोषित करने की एक शिकायत रिटर्निंग ऑफिसर के पास दर्ज कराई गई है.(MP Panchayat Election) शिकायतकर्ता का कहना है कि उसकी प्रतिद्वंदी सरपंची का चुनाव लड़ रही महिला की मौत तो 10 वर्ष पहले ही हो चुकी है, इसके बाद जो महिला प्रत्याशी के तौर पर सामने आई है वह महिला दूसरी है. वहीं मृत घोषित बताई जाने वाली महिला प्रत्याशी ने रिटर्निंग अधिकारी के पास पहुंच कर अपने जिंदा होने की सबूत पेश किए हैं.
दूसरे की पत्नी को लड़ा रहे चुनाव:शिवपुरी जिले के खनियाधाना तहसील के ग्राम पिपरोदा उबारी में अनुसूचित जनजाति सरपंच सीट आरक्षित है, जिस पर उत्तम आदिवासी की पत्नी दाखा आदिवासी ने नामांकन दाखिल किया है. लेकिन दाखा आदिवासी की प्रतिद्वंदी कपूरी आदिवासी ने दावा किया है कि दाखा की मृत्यु 10 साल पहले ही हो चुकी है और इसकी एक शिकायत शपथ पत्र के जरिए संपत पत्नी पूरम आदिवासी के द्वारा रिटर्निंग अधिकारी से की है. रिटर्निंग अधिकारी से की गई शिकायत में दाखा को ग्राम पिपरोदा उबारी की निवासी बताते हुएकहा गया कि चुनाव लड़ रही दाखा खनियाधाना के मसूरी गांव की रहने वाली है, साथ ही वह राकेश आदिवासी की पत्नी है.
मृत किया घोषित लेकिन जरूर लडूंगी चुनाव:दाखा आदिवासी जब इस बात की सूचना लगी कि उसे 10 वर्ष पहले ही मृत बताए जाने की साजिश रची जा रही है तो दाखा खनियाधाना में पहुंचकर रिटर्निंग अधिकारी के सामने पेश हुईं. दाखा ने अपने जीवित होने के दस्तावेजों को रिटर्निंग ऑफिसर को दिखाते हुए कहा कि, मैं जिंदा हूं, और सामने वाले ने मुझे 10 साल पहले मरा घोषित कर दिया है. लेकिन फिर भी मैं इस बार अपने गांव से सरपंची का चुनाव जरूर लडूंगी."