सुलतानपुर: उत्तर प्रदेश के जनपद सुलतानपुर से सांसद मेनका गांधी और उनके पुत्र वरुण गांधी को बीजेपी पार्टी से साइड लाइन करने की चर्चाओं के बीच बुधवार को खुद मेनका गांधी ने विराम लगा दिया है. उन्होंने अपना रुख स्पष्ट करते हुए कहा कि 'मैं बीजेपी में हूं और रहूंगी. ये पार्टी पर है कि वो मुझे टिकट दे या न दे.
दरअसल, सांसद मेनका गांधी और पीलीभीत से भाजपा सांसद वरुण गांधी अक्सर ट्विटर पर अपनी ही पार्टी और सरकार के खिलाफ मोर्चा खोलते रहते है. दोनों लगातार ऐसे ट्वीट करते हैं, जिससे पार्टी और सरकार पर विपक्षियों को निशाना साधने का भी काफी मौका मिलता है. वहीं, जब एक दिवसीय दौरे पर 13 फरवरी को वरुण गांधी पीलीभीत पहुंचे थे. उन्होंने इस दौरान सरकार की नीतियों पर जमकर हमला बोला था.
जनसभा को संबोधित करते हुए बैंक के लोन वितरण करने की प्रक्रिया पर कहा था कि देश में अधिकांश लोन का हिस्सा बड़े लोगों को दिया जाता है. संपूर्ण देश में 140 करोड़ की जनता ने 70 हजार करोड़ का डिफॉल्ट किया है. वहीं, देश के 10 सबसे बड़े उद्योगपतियों ने 2 लाख 70 हजार करोड़ के लोन का डिफॉल्ट किया है. जिसे मानक के अंतर्गत यह कहते हैं कि आम लोगों को लोन नहीं देंगे, क्योंकि यह कहीं न कहीं लोन अदा नहीं करेंग.
बता दें कि ऐसे ही बयानों के चलते इन दिनों सांसद मेनका गांधी और उनके पुत्र सांसद वरुण गांधी को भारतीय जनता पार्टी से साइडलाइन करने की चर्चाएं भी जोरों पर थी. लेकिन बुधवार को अपने सुलतानपुर दौरे के दूसरे दिन बल्दीराय तहसील पहुंची मेनका गांधी ने चौपाल के दौरान कहीं न कहीं अब इन चर्चाओं पर विराम लगा दिया है.
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