नई दिल्ली : गुरुग्राम के एक संस्थान ने एक सर्वे किया है. इसके आधार पर मिजोरम देश का सबसे अधिक खुश रहने वाला राज्य है. इसे हैप्पीएस्ट स्टेट माना गया है. इस स्टडी को मैनेजमेंट डेवलपमेंट इंस्टीट्यूट ने किया है. मिजोरम में सौ फीसदी साक्षरता है. स्टडी में मुख्य रूप से छह पैमानों को आधार बनाया गया. ये हैं पारिवारिक संबंध, सामाजिक मुद्दे, वर्क संबंधित समस्याएं, धर्म, कोविड का असर, मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य.
रिपोर्ट के अनुसार मिजो समुदाय के लोग कम उम्र से ही वित्तीय स्वतंत्रता पाने के लिए काम शुरू कर देते हैं. वे किसी भी काम को छोटा नहीं समझते हैं. राज्य में पुरुषों और महिलाओं के बीच कोई भेदभाव नहीं होता है. जेंडर के आधार पर निर्णय नहीं होते हैं. कुछ छिटपुट घटनाएं हो जाए, तो वह अलग बात है.
रिपोर्ट में ऐजवाल स्थित मिजो हाई स्कूल के स्टूडेंट्स से बातचीत का ब्योरा दिया गया है. कठिनाइयों के बावजूद इन छात्रों ने सीए या फिर सिविल सर्विसेस या एनडीए की तैयारी करने के संपने संजोए हैं. वे भविष्य की ओर देख रहे हैं. यह उनका सकारात्मक पक्ष है.
मिजोरम एक जातिविहीन राज्य है. पढ़ाई के लिए माता-पिता का दबाव बहुत कम है. स्टूडेंट्स से शिक्षकों की अक्सर मुलाकात होती रहती है. अगर छात्र किसी भी मुश्किल में होते हैं, तो वे उनकी मदद भी करते हैं. वहां के समुदाय की संस्कृति ऐसी है कि वे कम उम्र से ही कमाने के बारे में सोचने लगते हैं, चाहे वह लड़का हो या लड़की. यह एक अच्छी बात है और इसकी वजह से वे वित्तीय फ्रीडम हासिल कर लेते हैं.