माओवादी बिहार के मगध क्षेत्र में संगठन को पुनर्जीवित करने की कर रहे कोशिश : NIA - Maoists bihar news
सीपीआई (माओवादी) बिहार के मगध क्षेत्र में संगठन को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रही है. वह विभिन्न जेलों में बंद नक्सलियों और ओडब्ल्यूजी के साथ संपर्क कर रहे हैं.ये खुलासा एनआईए ने किया है. गौतम देबरॉय की रिपोर्ट.
राष्ट्रीय जांच एजेंसी
By
Published : Jun 26, 2023, 8:38 PM IST
नई दिल्ली:राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) द्वारा की गई जांच से पता चला है कि सीपीआई (माओवादी) बिहार के मगध क्षेत्र में संगठन को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रही है. एनआईए की अब तक की जांच से पता चला है कि प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन, सीपीआई (माओवादी), मगध जोन क्षेत्र में खुद को पुनर्जीवित करने के लिए अपने आपराधिक और हिंसक डिजाइनों को आगे बढ़ाने के लिए हथियारों और गोला-बारूद की खरीद और नए कैडरों की भर्ती के लिए धन जुटाने की कोशिश कर रहा था.
एनआईए के एक वरिष्ठ अधिकारी ने ईटीवी भारत को बताया, 'वे इस क्षेत्र में नक्सली गतिविधियों को पुनर्जीवित करने और मजबूत करने के लिए विभिन्न जेलों में बंद नक्सलियों और ओडब्ल्यूजी के साथ संपर्क कर रहे थे.
बिहार के मगध क्षेत्र में प्रतिबंधित संगठन को पुनर्जीवित कनरे के लिए किए जा रहे प्रयासों के सिलसिले में एनआईए ने शुक्रवार को सीपीआई (माओवादी) आतंकी फंडिंग मामले में आनंदी पासवान उर्फ आनंद पासवान को गिरफ्तार किया.
इससे पहले, पासवान के खिलाफ बिहार के विभिन्न पुलिस स्टेशनों में पांच से अधिक आपराधिक मामले दर्ज किए गए थे. एनआईए अधिकारी ने कहा, 'बिहार के अरवल जिले के निरखपुर गांव के निवासी पासवान के परिसरों पर छापेमारी की गई.'
गौरतलब है कि मगध क्षेत्र में सीपीआई (माओवादी) कैडरों और ओवर ग्राउंड वर्कर्स (ओजीडब्ल्यू) द्वारा संयुक्त रूप से संचालित किए जा रहे आतंकी वित्तपोषण नेटवर्क से संबंधित मामले (आरसी-05/2021/एनआईए-आरएनसी) में यह चौथी गिरफ्तारी है.
तरूण कुमार, प्रद्युम्न शर्मा और अभिनव उर्फ गौरव को पहले एनआईए ने गिरफ्तार किया था. एनआईए ने 20 जनवरी को इस मामले में दो आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया था. मगध क्षेत्र का पुनरुद्धार लंबे समय से नक्सलियों के एजेंडे में रहा है. बिहार में मगध क्षेत्र हमेशा माओवादी गतिविधियों का केंद्र रहा है, लेकिन सुरक्षा एजेंसियों द्वारा चलाए गए गहन नक्सल विरोधी अभियानों के बाद, उग्रवादियों को अपनी गतिविधियों को संचालित करना मुश्किल हो गया.
मगध क्षेत्र जहां नक्सली पुनरुद्धार का प्रयास कर रहे हैं, उसमें गया, जहानाबाद, अरवल, औरंगाबाद और नवादा जिले शामिल हैं. घने जंगल के कारण यह नक्सली गतिविधियों के लिए जाना जाता है.
एनआईए अधिकारी ने कहा, 'अपने आंदोलन को वित्त पोषित करने के लिए, नक्सली प्रतिबंधित वस्तुओं के उत्पादन और तस्करी के माध्यम से धन जुटाते हैं. इन जिलों में मारिजुआना और अफ़ीम जैसी प्रतिबंधित वस्तुओं की खेती बड़े पैमाने पर होती है.
कश्मीर में छापेमारी :एक अन्य घटनाक्रम में एनआईए ने जम्मू-कश्मीर को अस्थिर करने के लिए प्रतिबंधित पाकिस्तान समर्थित आतंकवादी संगठनों की शाखाओं की जांच के तहत सोमवार को कश्मीर के चार जिलों में कई छापे मारे. कार्रवाई के तहत कुलगाम, बांदीपोरा, शोपियां और पुलवामा के चार जिलों में बारह स्थानों पर छापेमारी की गई.
ये स्थान प्रतिबंधित आतंकवादी संगठनों की नवगठित शाखाओं और सहयोगियों से जुड़े हाइब्रिड आतंकवादियों और ओवरग्राउंड वर्कर्स (ओजीडब्ल्यू) के आवासीय परिसर थे. अधिकारी ने कहा, आतंकवादी साजिश के विवरण को उजागर करने के लिए एजेंसी द्वारा गहन जांच की जाएगी.