इंफाल (मणिपुर): केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Union Home Minister Amit Shah) ने मणिपुर की अपनी यात्रा के दूसरे दिन मंगलवार को नागरिक समाज संगठनों, प्रमुख हस्तियों के एक समूह, बुद्धिजीवियों, सेवानिवृत्त सेना के साथ व्यापक चर्चा की. इस दौरान गृह मंत्री ने मणिपुर पुलिस, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल और भारतीय सेना के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ सुरक्षा स्थिति की भी समीक्षा की. बैठक में, शाह ने कहा कि मणिपुर की शांति और समृद्धि हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है. उन्होंने अधिकारियों को राज्य की शांति भंग करने वाली किसी भी गतिविधि से सख्ती से निपटने का निर्देश दिया.
इसी क्रम में उन्होंने इंफाल में महिला नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल से भी मुलाकात की. मणिपुर के समाज में महिलाओं की भूमिका के महत्व को दोहराते हुए गृह मंत्री ने कहा कि हम राज्य में शांति और समृद्धि सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं. गृह मंत्री ने नागरिक समाज संगठन सीओसीओएमआई, एएमयूसीओ, एएमओसीओसी, एमएमडब्ल्यू, एसटीडीसीएम, एफओसीएस के अलावा छात्र संगठन के प्रतिनिधियों से शांति बहाली के लिए मुलाकात की. प्रतिनिधिमंडल ने शांति के लिए अपनी प्रतिबद्धता जताई और आश्वासन दिया कि हम साथ मिलकर मणिपुर में सामान्य स्थिति बहाल करने का मार्ग प्रशस्त करने में योगदान देंगे.
प्रतिनिधियों ने केंद्रीय गृह मंत्री से शांति और सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए प्रभावी हस्तक्षेप का आग्रह किया. मंत्री ने चुराचांदपुर का दौरा करने के साथ ही वहां की प्रमुख हस्तियों और नागरिक समाज संगठनों के एक प्रतिनिधिमंडल के साथ बैठक की. बाद में शाम को, शाह ने इम्फाल में एक सर्वदलीय बैठक की. बता दें कि गृह मंत्री बुधवार को मणिपुर के मोरेह और कांगपोकपी इलाकों का दौरा करेंगे. वह मोरेह में विभिन्न स्थानीय समूहों के प्रतिनिधिमंडलों के साथ बातचीत करेंगे और उसके बाद कांगपोकपी में नागरिक समाज संगठनों के साथ बैठक करेंगे. इसके बाद में वह इंफाल में सुरक्षा समीक्षा बैठक करेंगे.
एक जून तक मणिपुर के चार दिवसीय दौरे पर आए शाह ने सोमवार शाम इंफाल पहुंचने के तुरंत बाद मणिपुर के मुख्यमंत्री और राज्य के मंत्रियों, वरिष्ठ नेताओं और अधिकारियों के साथ एक बैठक की अध्यक्षता की थी और स्थिति का जायजा लेने के साथ ही क्षेत्र में सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए आगे के कदमों की योजना की रूपरेखा तैयार की. उस बैठक में केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला और इंटेलिजेंस ब्यूरो के प्रमुख तपन डेका समेत राज्य और केंद्र के संबंधित अधिकारियों ने हिस्सा लिया था. यह बैठक एक दिन पहले राज्य में ताजा हिंसा के मद्देनजर आयोजित की गई थी.