मुंबई/नई दिल्ली : महाराष्ट्र मामले में हर पल एक नया मोड़ आ रहा है. यह कहना मुश्किल है अभी अघाड़ी सरकार रहेगी, या गिर जाएगी. शिवसेना का बागी गुट बहुमत का दावा कर रहा है. दूसरी ओर शिवसेना प्रवक्ता संजय राउत ने दावा किया है कि बागी विधायक लौटेंगे. उन्होंने कहा कि कम से कम 20 विधायक उनके टच में हैं. हालांकि, उन्होंने यह भी कह दिया कि अगर शिवसेना के विधायक चाहते हैं कि वे अघाड़ी को छोड़ दें, तो पार्टी तैयार है, बशर्ते वे मुंबई आकर अपनी बात रखें. उनके इस बयान को लेकर गठबंधन के दूसरे दलों में हलचल मच गई है. कांग्रेस और एनसीपी इसे लेकर असहज हैं. इसके बावजूद दोनों ही पार्टियों ने दावा किया कि वे उद्धव ठाकरे के साथ हैं.
क्या कहा शरद पवार ने ---- बहुमत का फैसला सिर्फ विधानसभा में हो सकता है. बागी विधायकों को उसकी कीमत चुकानी होगी. विधायक एक बार मुंबई आएं, तो तस्वीर साफ हो सकेगी. हम सरकार बचाने का हर संभव प्रयास करेंगे. हमारी सरकार के पास बहुमत है. यह एक ऐसा समय है जहां पर किसी की गलती निकालने का समय नहीं है. उद्धव सरकार ने पिछले ढाई सालों में अच्छा काम किया है. एकनाथ शिंदे के बयान के पीछे कौन है, यह सबको पता है. और बागी विधायक हमारे साथ ढाई साल से थे, तब उन्हें हिंदुत्व क्यों नहीं याद आया.
शरद पवार से पहले एनसीपी नेता अजीत पवारने कहा कि वे पूरी तरह से गठबंधन के साथ हैं और वे सरकार बचाने का पूरा प्रयास करेंगे. पवार ने यह भी कहा कि मैंने जो राय रखी है, यही हमारी पार्टी की राय है. इसके अलावा जो भी बयान दिया जा रहा है, उसे आधिकारिक बयान न माना जाए. अजीत पवार ने कहा कि पूरे विवाद में भाजपा का हाथ है, ऐसा अभी तक देखने को नहीं मिला है, मुझे लगता है कि यह शिवसेना का आंतरिक मामला है.
दरइसल, इससे पहले एनसीपी नेता छगन भुजबल ने कहा था कि यदि संजय राउत का बयान सही है, तो उन्हें सबसे पहले हमारे पार्टी प्रमुख शरद पवार से बातचीत करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि हर पार्टी को अपना रास्ता अपनाने का अधिकार है, किसी को भी कोई रोक नहीं सकता है.
इसी तरह सेएनसीपी नेता जयंत पाटिल ने कहा कि वह उद्धव ठाकरे के साथ हैं. पाटिल ने कहा कि वह आखिरी क्षण तक महाविकास अघाड़ी सरकार को बचाने का प्रयास करेंगे. पाटिल ने यह भी कहा कि संजय राउत ने ऐसा क्यों कहा, मुझे पता नहीं है. उन्होंने यह भी कहा कि अभी तक शिवसेना ने हमें इस मुद्दे पर सीधे कुछ नहीं कहा है.
महाराष्ट्र कांग्रेस के अध्यक्ष नाना पटोले ने कहा कि हम शिवसेना के साथ भाजपा को रोकने के लिए आए थे. लेकिन अब जो गेम हो रहा है वह ईडी की वजह से हो रहा है. पटोले ने कहा कि हमारी सरकार बहुमत साबित करने के लिए तैयार है. हम अघाड़ी के साथ हैं और उसमें बने रहेंगे. फिर भी शिवसेना यदि किसी भी अन्य दल के साथ गठबंधन बनाना चाहती है, तो हमें इस पर कोई ऐतराज नहीं है.
हालांकि, दिल्ली में कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने इस मुद्दे पर मीडिया से बात की. उन्होंने कहा कि हम महाविकास अघाड़ी के साथ हैं. उन्होंने कहा कि शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी तीनों ही दल साथ हैं. खड़गे ने कहा कि महाराष्ट्र में सरकार गिराने की पूरी कोशिश चल रही है. उन्होंने कहा कि ये भाजपा का खेल है, वो तोड़-मोड़ कर सरकार को गिराना चाहती है. खड़गे ने कहा कि पहले विधायकों को सूरत लेकर गए, उसके बाद गुवाहाटी..वहां दोनों जगह किसकी सरकार है ? बीजेपी एक स्थिर सरकार को गिराने की कोशिश कर रही है, बीजेपी चाहती है कि देश में कोई भी गैर भाजपा राज्य सरकार न रहे. बीजेपी राष्ट्रपति चुनाव से पहले अपनी सत्ता वहां लाना चाहती है, महाराष्ट्र बहुत बड़ा राज्य है, हम तीनों पार्टी मिलकर रहेंगे, मिलकर लड़ेंगे और साथ रहेंगे.
कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे और जयराम रमेश
मौजूदा परिस्थिति का सामना करने के सवाल पर खड़गे ने कहा कि तीनों पार्टियाँ मिल कर रहेंगी और एक साथ गठबंधन को मजबूत करने का काम करेंगे. उन्होंने कहा कि इसी तरह का काम भाजपा ने कर्नाटक में किया, मध्यप्रदेश, गोवा और मणिपुर में भी किया. हर राज्य जहां कांग्रेस की सरकार थी या जहां कांग्रेस को बहुमत था, वहां उसे अल्पमत में ला कर अपनी सरकार लाने की कोशिश की, ये सभी जानते हैं. खड़गे ने कहा कि वही काम वह महाराष्ट्र में भी कर रहे हैं. कांग्रेस नेता ने दावा किया कि गठबंधन की तीनों पार्टियाँ अपने अपने जगह पर सरकार को मजबूती से समर्थन कर रही है. खड़गे ने कहा कि सरकार अभी चलेगी और जितने भी विधायक चले गए हैं उम्मीद है वह वापस आ कर उद्धव ठाकरे से मिलेंगे और अपनी बात रखेंगे. खड़गे से जब संजय राउत के सवाल पर प्रतिक्रिया मांगी गई, तो उन्होंने कहा कि वह सभी बातों पर प्रतिक्रिया नहीं देना चाहते, लेकिन उनकी संजय राउत से बातचीत हुई है और वह गठबंधन के साथ मज़बूती से खड़े हैं.
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