नई दिल्ली :भारत में नियुक्त जर्मनी के राजदूत वाल्टर जे लिंडनेर ने कहा कि भारत को भी वर्ष 2050 तक 'कार्बन न्यूट्रैलिटी' का लक्ष्य प्राप्त कर लेना चाहिए. गौरतलब है कि कार्बन न्यूट्रैलिटी उस विचार को कहा जाता है, जिसमें ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन और प्राकृतिक रूप से अवशोषित इस गैस की मात्रा में संतुलन स्थापित किया तथा कुल उत्सर्जन शून्य हो.
110 से अधिक देशों ने 2050 तक कार्बन न्यूट्रैलिटी का लक्ष्य रखा
दुनिया के 110 से अधिक देशों ने पहले ही वर्ष 2050 तक कार्बन न्यूट्रैलिटी का लक्ष्य प्राप्त करने का वादा किया है. जर्मनी के एकीकरण की 31वीं वर्षगांठ पर आयोजित कार्यक्रम में लिंडनेर ने कहा, संयुक्त राष्ट्र का लक्ष्य (कार्बन न्यूट्रैलिटी प्राप्त करना) 2050 में यह उपलब्धि प्राप्त करना है. यूरोपीय संघ ने 2050 और जर्मनी ने 2045 में इस लक्ष्य को प्राप्त करने का संकल्प व्यक्त किया है और भारत द्वारा भी लक्ष्य हासिल किया जा सकता है. लिंडनेर ने कहा भारत जो कह रहा है और जो कर रहा है मैं उसका आकलन नहीं कर रहा. 'अगर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कहते हैं कि वह 2050 तक संयुक्त राष्ट्र के लक्ष्य (कार्बन न्यूट्रैलिटी) को हासिल कर सकते हैं तो यह बहुत बढ़िया रहेगा.'