हैदराबाद : सोमवार 21 जून से देश में 18 साल से अधिक उम्र के हर नागरिक के लिए मुफ्त कोविड-19 टीकाकरण अभियान का आगाज़ हो गया. जिसके तहत पहले ही दिन रिकॉर्डतोड़ टीकाकरण हुआ. cowin.gov.in पर दी गई जानकारी (सोमवार को रात 10.40 बजे तक उपलब्ध आंकड़ों) के मुताबिक देशभर में 84.07 लाख लोगों को वैक्सीन की डोज दी गई.
पीएम मोदी ने रिकॉर्ड वैक्सीनेशन होने पर ट्वीट कर खुशी जाहिर की. उन्होंने लिखा कि 'आज की रिकॉर्डतोड़ टीकाकरण प्रसन्न करने वाली है. COVID-19 से लड़ने के लिए वैक्सीन हमारा सबसे मजबूत हथियार बना हुआ है.'
पीएम मोदी ने कहा, 'उन सभी को बधाई जिन्होंने टीका लगाया और सभी अग्रिम पंक्ति के योद्धाओं को बधाई दी ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि इतने सारे नागरिकों को टीका मिल सके.'
रिकॉर्ड टीकाकरण पर पीएम मोदी का ट्वीट 10 बजे तक 84,07,420 लोगों को लगा टीका
cowin.gov.in पर रजिस्ट्रेशन के बाद ही लोगों को कोविड टीका लगाया जा रहा है. जिसके मुताबिक सोमवार 21 जून को 84,07,420 लोगों को वैक्सीन दी गई. ये आंकड़े रात 10.40 बजे तक के हैं. देश में जबसे कोविड-19 टीकाकरण अभियान शुरू हुआ है तबसे एक दिन में सबसे अधिक लोगों को सोमवार के दिन टीका लगा है.
एमपी, कर्नाटक और यूपी में सबसे ज्यादा टीके लगे
रात 10.40 बजे तक के आंकड़ों के मुताबिक सोमवार को एक दिन में सबसे ज्यादा डोज देने के मामले में मध्य प्रदेश पहले स्थान पर रहा जहां सबसे अधिक 16,41,042 टीके लगाए गए. दूसरे नंबर पर कर्नाटक (11,00,517) और तीसरे स्थान पर उत्तर प्रदेश (7,04,955) रहा. इसके बाद 4 लाख से अधिक डोज लगाने वाले राज्य बिहार (4,23,728), गुजरात (4,86,789), हरियाणा (4,50,232), राजस्थान (4,09,609) रहे.
रविवार को 30 लाख से अधिक लोगों का हुआ वैक्सीनेशन
केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार नियोजन मंत्रालय द्वारा सोमवार 21 जून सुबह 7 बजे तक के आंकड़ों के मुताबिक, बीते 24 घंटे (रविवार) में देशभर में 30,39,996 लोगों को टीका लगा. इनमें से 27,62,051 पहली और 5,12,95,124 दूसरी डोज़ लगी. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबकि सोमवार सुबह 7 बजे तक देश में 28,00,36,898 डोज़ दी गई, इनमें से 22,87,41,774 पहली और 5,12,95,124 दूसरी डोज के रूप में दी गई.
16 जनवरी से शुरू हुआ था टीकाकरण
भारत में कोविड-19 टीकाकरण अभियान 16 जनवरी 2021 से शुरू हुआ था. जिसके तहत सबसे पहले डॉक्टरों, मेडिकल स्टाफ और अन्य स्वास्थ्य कर्मियों के साथ फ्रंट लाइन वर्कर्स को टीकाकरण में तरजीह दी गई. इसके बाद 1 मार्च से 60 साल से अधिक आयु के नागरिकों के लिए टीकाकरण अभियान शुरू किया गया.
जिसके बाद केंद्र सरकार ने 1 मई से 18 साल से अधिक उम्र के हर नागरिक के टीकाकरण का ऐलान कर दिया और इसकी जिम्मेदारी राज्यों को दी गई. लेकिन कई राज्य टीकों की कमी का हवाला देकर तय वक्त पर अभियान शुरू नहीं कर पाए. टीकों की कमी को लेकर सियासत भी खूब हुई. कुछ राज्यों के मुताबिक देश की वैक्सीन निर्माता कंपनियों ने राज्यों को टीकों की सप्लाई में असमर्थता जताई है, वहीं वैक्सीन के लिए ग्लोबल टेंडर डालने वाले राज्यों को भी वैक्सीन नहीं मिल पाई. वैक्सीन की कमी को लेकर केंद्र सरकार लगातार विरोध झेल रही थी, जिसके बाद केंद्र सरकार ने बड़ा फैसला लिया.
केंद्र ने ली टीकाकरण की जिम्मेदारी
बीते 7 जून को पीएम मोदी ने 21 जून से 18 साल से अधिक के हर नागरिक को मुफ्त वैक्सीन उपलब्ध करवाने का ऐलान किया. इस अभियान के तहत मुफ्त टीकाकरण केंद्र सरकार की जिम्मेदारी होगी. राज्यों को वैक्सीन नहीं खरीदनी पड़ेगी. साथ ही निजी अस्पतालों के लिए भी वैक्सीन का 25 फीसदी कोटा जस का तस रखने के साथ ही उनके लिए वैक्सीनेशन का सर्विस चार्ज तय कर दिया गया. सरकार के आदेश के मुताबिक कोई भी निजी अस्पताल वैक्सीन लगाने के बदले वैक्सीन के दाम के अलावा 150 रुपये सर्विस चार्ज से अधिक नहीं वसूल सकता है.
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