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Kinnaur Landslide: किन्नौर हादसे में अब तक 14 शव बरामद

किन्नौर के निगुलसारी में लैंडस्लाइड होने से अब तक 14 लोगों की जान चली गई है दूसरे दिन रेस्क्यू के दौरान 4 और डेड बॉडी मिली है, जबकि 13 लोग इस हादसे में घायल हुए हैं. वहीं, 16 लोगों के लापता होने आशंका जताई जा रही है. फिलहाल रेस्क्यू ऑपरेशन बंद किया गया है.

Kinnaur Landslide
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Published : Aug 12, 2021, 9:22 AM IST

Updated : Aug 12, 2021, 6:42 PM IST

किन्नौर: जनजातीय जिला किन्नौर के निगुलसारी में लैंडस्लाइड होने से अब तक 14 लोगों की मौत हो गई है. दूसरे दिन रेस्क्यू के दौरान 4 और डेड बॉडी मिली है, इससे पहले बुधवार को 10 बॉडी मिली थी. इस हादसे में 13 लोग घायल हुए हैं जिनमें 2 की हालत गंभीर बताई जा रही है. अभी भी कई लोग लापता हैं. आज मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर (Chief Minister Jairam Thakur) मौके पर पहुंचे और पीड़ित परिवारों से मुलाकात किया.

आईटीबीपी के डिप्टी कमांडेंट धर्मेंद्र ठाकुर ने बताया, रात को भी भूस्खलन हो रहा था. बस का इंजन और टायर मिला है. उन्होंने कहा कि भूस्खलन वाली जगह पर खोज और बचाव अभियान चल रहा है. अब तक 14 लोगों के शव बरामद किए गए हैं. इस हादसे में 13 लोग घायल हुए हैं, जिनमें दो की हालत गंभीर बताई जा रही है. अभी भी कई लोग लापता हैं.

किन्नौर भूस्खलन

राज्य के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर (Chief Minister Jairam Thakur) गुरुवार दोपहर घटनास्थल पर पहुंचे और स्थिति का जायजा लिया. विधायक किन्नौर जगत सिंह नेगी और पूर्व विधायक किन्नौर तेजवंत सिंह नेगी भी सीएम जयराम ठाकुर के साथ मौजूद मौजूद थे.

किन्नौर हादसे पर सीएम जयराम ठाकुर ने संबंधित जानकारी दी

किन्नौर से शिमला लौटने के बाद सीएम जयराम ठाकुर ने इस मामले से संबंधित जानकारी सदन में दी. सीएम जयराम ठाकुर ने कहा कि पहाड़ी से लगातार पत्थर गिरने के चलते फिलहाल सर्च ऑपरेशन को रोक दिया गया है. घटना घटित होने के तुरंत बाद वहां जाने का मन था, लेकिन मौसम खराब होने के कारण नहीं जा पाए. आज सुबह किन्नौर गए, साथ में परिवहन मंत्री, मुख्य सचिव व अन्य अधिकारी भी थे.

सीएम जयराम ठाकुर ने किया मुआवजे का एलान.

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज भी लगातार पत्थर गिर रहे थे, ऐसे में रेस्क्यू काफी कठिन हो गया है. केंद्रीय गृह मंत्री ने घटना ते तुरंत बाद आईटीबीपी को रेस्क्यू के आदेश दिए थे. 13 लोगों का अभी तक रेस्क्यू किया गया है. सभी घायल भावानगर में एडमिट हैं, जबकि एक हमीरपुर और एक का आईजीएमसी में इलाज चल रहा है.

मुख्यमंत्री ने कहा कि जब हम भी वहां गए तो गाड़ियों पर छोटे-छोटे पत्थर गिर रहे थे. हमारी गाड़ियों पर भी पत्थर गिर रहे थे. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का भी संदेश आया है. जिनके परिजन अभी भी लापता हैं, उनके रहने का प्रबंध किया गया है. सीएम ने कहा कि अब हमने निर्णय लिया है कि रेस्क्यू ऑपरेशन में मशीनों का प्रयोग किया जाएगा. हिमाचल सरकार की तरफ से हर संभव सहायता की जा रही है.

मुआवजे का एलान
इस दौरान पत्रकारों से बात करते हुए सीएम जयराम ने कहा कि किन्नौर जिले में इस वर्ष लगातार दूसरी बार लैंडस्लाइड हुआ है, जो दुखद घटना है. उन्होंने निगुलसारी घटना में मृतकों के परिजनों को 4 लाख और घायलों को 50 हजार के तौर पर राहत राशि देने की घोषणा भी की है.

सीएम ने इस घटना में मृतकों के परिवार के प्रति संवेदनाएं भी प्रकट की है. वहीं, एनडीआरएफ की टीम सुबह छह बजे से लगातार रेस्क्यू का काम कर रही है. पहाड़ों से अभी भी पत्थरों के गिरने का सिलसिला जारी है. ऐसे में टीम जान जोखिम में डालकर भी रेस्क्यू कर रही है.

इससे पहले, सीएम जयराम ठाकुर ने हादसे पर संवेदना जताई. साथ ही सीएम ने कहा है कि दोपहर तक रेस्क्यू से स्थिति स्पष्ट हो पाएगी आखिर इस हादसे में कितने लोगों की जान गई है. उन्होंने कहा कि अभी तक यह पता नहीं चल पा रहा है कि आखिर बस में कितने लोग सवार थे. हालांकि रेस्क्यू ऑपरेशान जारी है, लेकिन बस में सवारियों की संख्या पता चले तो कुछ कहा जा सकता है.

सीएम ने कहा कि सुबह से ही होमगार्ड, एनडीआरएफ की टीम के साथ आईटीबीपी और सेना के जवान जुटे हुए हैं. स्थानीय लोग भी प्रशान की मदद में लगे हुए हैं.

वहीं, बुधवार को घटना की सूचना मिलते ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi), केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Union Home Minister Amit Shah) ने हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से फोन पर बात कर किन्नौर हादसे की जानकारी ली. पीएम मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सीएम जयराम ठाकुर को हर संभव मदद का आश्वासन दिया.

राज्य आपदा प्रबंधन निदेशक सुदेश कुमार मोख्ता ने बताया कि कुछ वाहनों के साथ ही मलबे में हिमाचल सड़क परिवहन निगम (एचआरटीसी) की एक बस भी दब गई थी. ये तीन शव बस में से ही मिले हैं. बस बुरी तरह क्षतिग्रस्त हालत में मिली है, जबकि एक बोलरो वाहन अब भी मलबे में दबा है.

उन्होंने बताया कि गुरुवार सुबह छह बजे बचाव कार्य फिर से शुरू किया गया. स्थानीय पुलिस के सदस्य, होमगार्ड, राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ), भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) संयुक्त रूप से बचाव अभियान चला रहे हैं. अधिकारियों ने बुधवार रात करीब 10 बजे तलाश अभियान स्थगित कर दिया था.

डीसी किन्नौर आबिद हुसैन ने बताया कि राहत और बचाव कार्य जारी है. राष्ट्रीय उच्च मार्ग-5 को बहाल कर दिया गया है.

यह भी पढ़ें-पीएम मोदी ने सीएम जयराम से फोन पर बात कर ली हादसे की जानकारी

बता दें, निचार तहसील के निगुलसारी क्षेत्र के चौरा गांव के पास राष्ट्रीय राजमार्ग पांच पर बुधवार दोपहर को भूस्खलन के बाद पहाड़ से गिरे पत्थरों की चपेट में हिमाचल सड़क परिवहन निगम (एचआरटीसी) की एक बस आ गई थी, जो रिकांग पियो से शिमला होते हुए हरिद्वार जा रही थी.

बुधवार को 10 लोगों के शव मिले थे तथा 13 घायलों को बचा लिया गया था, जबकि कई अन्य के मलबे में दबे होने की आशंका है. अधिकारी ने बुधवार को बताया था कि एक टाटा सूमो मिली है, जिसमें आठ लोग मृत पाए गए हैं.

Last Updated : Aug 12, 2021, 6:42 PM IST

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