नई दिल्ली:उत्तर भारत के कुछ हिस्सों में लगातार तीसरे दिन सोमवार को भारी बारिश ने तबाही मचाई. बीते दो दिन में बारिश से संबंधित घटनाओं में 37 लोगों की मौत हो चुकी है. राहत और बचाव अभियान तेज करने के लिए सेना और एनडीआरएफ की कई टीम को तैनात किया गया है. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड के मुख्यमंत्रियों से स्थिति के बारे में बात की और उन्हें केंद्र सरकार से हर संभव मदद और सहयोग का आश्वासन दिया है. प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने देश के विभिन्न हिस्सों में अत्यधिक बारिश से पैदा हुई स्थिति की वरिष्ठ मंत्रियों और अधिकारियों के साथ समीक्षा की.
हिमाचल प्रदेश में पिछले दो दिनों में अचानक आई बाढ़ और भूस्खलन से 18 लोगों की मौत हो गई, जबकि पंजाब और हरियाणा में नौ, राजस्थान में सात और उत्तर प्रदेश में तीन लोगों की मौत हो गई. उत्तर भारत में, दिल्ली में यमुना सहित कई नदियां उफान पर हैं. क्षेत्र में कई सड़कें और आवासीय इलाके घुटने तक पानी में डूब गए हैं. कई जगहों पर सैलाब में वाहन बहते नजर आए. रविवार को रिकॉर्ड बारिश के कारण नगर निकाय भी स्थिति सुधारने में असहाय नजर आए.
असम का जोड़ा हिमाचल में लापता:इस बीच हिमाचल प्रदेश घूमने गया असम का एक जोड़ा लापता हो गया है. लापता दंपति सोनारी जिले के पार्वतीपुर निवासी देवाशीष राजखोवा और शिखा फुकन हैं. पिछले 72 घंटों से परिवार को देवाशीष और शिखा का कोई पता नहीं चला है. इससे परिवार के लोग सदमे में हैं. दंपति 6 जुलाई को हिमाचल प्रदेश की यात्रा पर गए थे. मौसम बिगड़ने के बाद से परिवार के सदस्यों का देवाशीष और शिखा से कोई संपर्क नहीं हो पा रहा है. परिवार का मानना है कि दोनों मंडी जिले में रह रहे थे. परिवार ने मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा से हिमाचल प्रदेश सरकार से संपर्क करने और दोनों को बचाने के लिए उपाय करने का आग्रह किया है.
चार राज्यों में NDRF की 39 टीमें तैनात: उत्तर भारत के चार राज्यों में हो रही भारी बारिश और बाढ़ से निपटने के लिए एनडीआरएफ की कुल 39 टीम तैनात की गई हैं. अधिकारियों ने कहा कि एनडीआरएफ की 14 टीम पंजाब में काम कर रही हैं, जबकि एक दर्जन टीम हिमाचल प्रदेश, आठ उत्तराखंड और पांच हरियाणा में तैनात हैं. एनडीआरएफ के एक प्रवक्ता ने बताया, 'बचाव अभियान वास्तविक स्थिति के अनुसार और राज्य के अधिकारियों के समन्वय से चलाया जा रहा है.' पंजाब में भारी बारिश के कारण पानी भर जाने के बाद सेना ने राज्य के एक निजी विश्वविद्यालय से 910 छात्रों और 50 अन्य को बचाया.
पंजाब और हरियाणा में नागरिक प्रशासन ने पूर्व में सेना से बचाव अभियान के लिए मदद मांगी थी और सेना ने दोनों राज्यों के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में प्रशासन की सहायता के लिए पश्चिमी कमान की बाढ़ राहत टुकड़ियों को भेजा है. कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने मूसलाधार बारिश से प्रभावित राज्यों में हुए जान-माल के नुकसान पर दुख जताया और केन्द्र सरकार से आग्रह किया कि 'पीएम केयर्स फंड' से अतिरिक्त सहायता राशि प्रदान की जानी चाहिए.
हिमाचल प्रदेश में भूस्खलन से शिमला में चार और लोगों की जान चली गई. पर्वतीय राज्य में लगातार तीसरे दिन भारी बारिश के कारण शिमला-कालका राजमार्ग सोमवार सुबह अवरुद्ध हो गया. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि पिछले दो दिन में राज्य में बारिश से संबंधित घटनाओं में कम से कम 16 लोगों की मौत हुई है. सुक्खू ने कहा कि पिछले 50 वर्षों में राज्य में इतनी 'भारी बारिश' नहीं देखी गई है. उन्होंने कहा कि चंद्रताल में तथा लाहौल एवं स्पीति में पागल एवं तेलगी नाले के बीच फंसे 400 पर्यटकों और स्थानीय लोगों को बचाने के प्रयास जारी हैं.
शिमला के ठियोग उप संभाग में सोमवार सुबह भूस्खलन के बाद तीन लोगों की मौत हो गई. पुलिस अधिकारियों ने बताया कि यह घटना पल्लवी गांव में हुई और मृतकों की पहचान दीप बहादुर, देवदासी और मोहन बहादुर के रूप में हुई है. शिमला शहर के बाहरी इलाके राझना गांव में भूस्खलन के बाद मलबे में फंसी एक बुजुर्ग महिला का शव रविवार रात को निकाला गया. इससे कुछ घंटे पहले महिला की पोती का शव घटनास्थल से बरामद किया गया था.
राज्य में भारी बारिश के कारण भूस्खलन, घरों को नुकसान पहुंचने और कई लोगों की मौत होने के एक दिन बाद मौसम विभाग ने सोमवार को 'अत्यंत भारी बारिश' के लिए 'रेड अलर्ट' जारी किया. अधिकारियों ने बताया कि यूनेस्को की विश्व धरोहर सूची में शामिल शिमला-कालका मार्ग पर रेल परिचालन मंगलवार तक के लिए रोक दिया गया है क्योंकि भूस्खलन के कारण कई स्थानों पर मार्ग अवरुद्ध है. उन्होंने कहा कि राज्य भर में शैक्षणिक संस्थानों को सोमवार और मंगलवार को बंद रखने का आदेश दिया गया है.
शिमला से लगभग 16 किमी दूर शोघी के पास सोमवार को भूस्खलन के बाद शिमला-कालका राष्ट्रीय राजमार्ग अवरुद्ध हो गया. अधिकारियों ने बताया कि जिले में 120 से अधिक सड़कें अवरुद्ध हैं जबकि 484 जल आपूर्ति योजनाएं प्रभावित हुई हैं. सुक्खू ने एक वीडियो में लोगों से अपील की कि वे भारी बारिश में घरों से बाहर निकलने से, खासकर नदियों और नालों के पास जाने से बचें, क्योंकि मौसम विभाग ने भारी बारिश होने की चेतावनी दी है.