हरक्यूलिस विमानों के जरिये चिन्यालीसौड़ पहुंची हैवी ऑगर मशीन उत्तरकाशी(उत्तराखंड): बीते मंगलवार रात ऑगर मशीन में तकनीक खराबी होने से पर नई दिल्ली से नई हैवी मंगवाई गई. जिसके पार्ट्स की खेपों को वायुसेना के हरक्यूलिस विमानों ने तीन खेपों में चिन्यालीसौड़ हवाई अड्डे पर उतारा. इसके बाद इन्हें चिन्यालीसौड़ से सिलक्यारा टनल साइट तक ग्रीन कॉरिडोर बनाकर पहुंचाया गया.
मशीन के बुधवार देर शाम तक स्थापित होने के बाद रात में इसके ड्रिलिंग शुरू करने की उम्मीद है. निर्माणाधीन सिलक्यारा टनल में भूस्खलन के बाद 40 मजदूर पिछले चार दिनों से सुरंग में फंसे हुए हैं. पहले इन मजदूरों को बाहर निकालने के लिए जेसीबी मशीनों से मलबा हटाने का काम किया जा रहा था. जिसके बाद देहरादून से ऑगर मशीन मंगवाई गई. बीते मंगलवार देर शाम तक इस मशीन को स्थापित किया गया. जिससे देर शाम को थोड़ा-बहुत ड्रिलिंग की गई, उसके बाद तकनीकी खराबी के चलते मशीन को हटा दिया गया. इसके बाद वायुसेना के विमानों के जरिये दिल्ली से नई ऑगर मशीन मंगवाई गई.
वायुसेना के विमान के जरिये पहुंची ऑगर मशीन
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बुधवार को इस मशीन को वायुसेना के हरक्यूलिस विमान के जरिए तीन खेप में चिन्यालीसौड़ हवाई अड्डे पर उतारा गया. इसके लिए सुबह करीब 10 बजे पहले हेली से वायुसेना की कम्यूनिकेशन टीम दिल्ली के हिंडन एयरबेस से चिन्यालीसौड़ हवाई अड्डे पर उतरी. इसके बाद 11:30 बजे वायुसेना का एयरक्राफ्ट रेकी कर लौटा. जिसके बाद दोपहर एक बजे वायुसेना के हरक्यूलिस विमान ने मशीन के पार्ट्स को एयरलिफ्ट कर चिन्यालीसौड़ हवाई अड्डे के लिए उड़ान भरी. इसे सड़क मार्ग से ग्रीन कॉरिडोर तैयार कर चिन्यालीसौड़ से सिलक्यारा टनल साइट तक पहुंचाया गया.
रेस्क्यू ऑपरेशन में आएगी तेजी
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वायुसेना का पहला हरक्यूलिस विमान नई दिल्ली के हिंडन एयरबेस से नई मशीन के पार्ट्स लेकर दोपहर करीब एक बजे चिन्यालीसौड़ हवाई अड्डे पर उतरा. जिसके बाद ट्रक के माध्यम से इन पार्ट्स को करीब पौने चार बजे सिलक्यारा टनल में पहुंचाया गया. दो बजे मशीन लेकर आए विमान के अंदर मशीन फंस गए. जिसे दो घंटे से निकालने का प्रयास किया जा रहा है. वहीं तीसरा विमान भी लैंडिंग के लिए पहुंचा,। लेकिन दूसरा विमान खाली नहीं होने के चलते यह नहीं उतर पाया है. यहां बुधवार देर शाम तक ही इन मशीनों की खेप सिलक्यारा टनल पहुंचने की उम्मीद है. जिसके बाद मशीन को स्थापित करने का काम किया जाएगा.
अमेरिका में बनी जैक एंड पुश अर्थ ऑगर मशीन पुरानी मशीन से काफी एडवांस है, जो काफी स्पीड में काम करेगी. राहत एवं बचाव ऑपरेशन में अब मिलिट्री ऑपरेशन की टीम भी शामिल हो गई है. इसके साथ वायुसेना, थल सेना भी बचाव अभियान में मदद कर रही है.
कर्नल दीपक पाटिल, प्रभारी राहत एवं बचाव मिशन सिलक्यारा