नई दिल्ली: केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने गुरुवार को प्राथमिक स्तर पर गैर संचारी रोग से निपटने के लिए चिकित्सा अधिकारियों के लिए क्षमता निर्माण कार्यक्रमों की आवश्यकता पर जोर दिया. भूषण ने जिला अस्पतालों, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों के चिकित्सा अधिकारियों के लिए एक वेबिनार को संबोधित करते हुए कहा कि चिकित्सा अधिकारियों के लिए क्षमता निर्माण आवश्यक है क्योंकि यह उन्हें मूल्यवान ज्ञान और विशेषज्ञता का आंकलन करने का अनूठा अवसर प्रदान करता है, उनके पेशेवर विकास में योगदान देता है और गैर-अल्कोहलिक फैटी लीवर रोग (एनएएफएलडी) द्वारा उत्पन्न चुनौतियों का प्रभावी ढंग से समाधान करने की उनकी क्षमता को बढ़ाता है. वेबिनार में देश भर से 700 से अधिक चिकित्सा अधिकारियों ने भाग लिया.
भूषण ने इस बात पर प्रकाश डाला कि जैसे-जैसे देश की आर्थिक और जनसांख्यिकीय प्रोफ़ाइल बदली है, वैसे-वैसे इसकी महामारी विज्ञान प्रोफ़ाइल भी गैर-संचारी रोगों में वृद्धि की ओर अग्रसर हुई है. उन्होंने प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों और जिला अस्पतालों की बढ़ती भूमिका पर जोर दिया. भूषण ने कहा, "चूंकि आप (अधिकारी) सीधे समुदाय के साथ काम करते हैं, तो यह महत्वपूर्ण है कि आपके पास बड़े समुदाय को प्रसारित करने के लिए सही जानकारी हो, साथ ही जीवनशैली आधारित परिवर्तनों को प्रेरित करने पर ध्यान केंद्रित करें." उन्होंने कहा कि हमारे चिकित्सा अधिकारियों को सही ज्ञान और उपकरण प्रदान करने में क्षमता निर्माण कार्यक्रम और अधिक महत्वपूर्ण हो गए हैं ताकि वे अपना कार्य प्रभावी ढंग से कर सकें.