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नवाब मलिक को जारी नोटिस पर हाइकोर्ट ने लगाई रोक - Prevention of Atrocities Act complaint

बम्बई उच्च न्यायालय ने एनसीबी के अधिकारी समीर वानखेड़े के एक रिश्तेदार द्वारा दायर अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम शिकायत पर मंत्री नवाब मलिक को जारी नोटिस पर रोक लगा दी है.

Nawab Malik
नवाब मलिक

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Published : Dec 17, 2021, 8:13 PM IST

नागपुर : बम्बई उच्च न्यायालय ने एनसीबी के अधिकारी समीर वानखेड़े के एक रिश्तेदार द्वारा दायर अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम शिकायत पर महाराष्ट्र के वाशिम जिले की एक अदालत ने राज्य के मंत्री नवाब मलिक को जारी नोटिस पर शुक्रवार को रोक लगा दी.

मलिक के वकील जगविजय सिंह गांधी ने कहा कि वानखेड़े के रिश्तेदार संजय वानखेड़े ने वाशिम की एक विशेष अदालत में शिकायत दर्ज करके राकांपा नेता के खिलाफ अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम (Prevention of Atrocities Act complaint) के तहत मामला दर्ज करने का अनुरोध किया है. उन्होंने कहा कि चार दिसंबर को वाशिम की अदालत ने मलिक को नोटिस जारी करके जवाब मांगा था.

वकील ने कहा, हमने इस नोटिस को उच्च न्यायालय की नागपुर पीठ के समक्ष चुनौती दी है और कहा कि शिकायत हलफनामे से समर्थित नहीं है. इसके अलावा, शिकायत में अनुरोध किये जाने वाले निर्देशों को लेकर हमें पक्षकार नहीं बनाया गया है.

अधिवक्ता गांधी ने कहा कि शिकायत किसी भी संज्ञेय अपराध का खुलासा नहीं करती है. इसलिए इसे रद्द किया जाना चाहिए.

शिकायत में आरोप लगाया गया है कि मलिक के ट्वीट और सार्वजनिक बयानों में दावा किया गया है कि समीर वानखेड़े मुस्लिम हैं, लेकिन उन्होंने फर्जी जाति प्रमाणपत्र प्राप्त किया, इससे शिकायतकर्ता संजय वानखेड़े की भावनाओं को ठेस पहुंची है.

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शिकायत में कहा गया है कि समीर के संयुक्त परिवार का सदस्य होने के नाते उन्हें (शिकायतकर्ता) शिकायत करने का अधिकार है.

अधिवक्ता गांधी ने कहा कि न्यायमूर्ति रोहित देव ने दलीलें सुनने के बाद मलिक को जारी नोटिस पर रोक लगा दी.

अल्पसंख्यक विकास मंत्री मलिक ने आरोप लगाया था कि एनसीबी के मुंबई क्षेत्रीय निदेशक समीर वानखेड़े जन्म से मुस्लिम थे, लेकिन फर्जी जाति प्रमाणपत्र प्राप्त करके अनुसूचित जाति कोटे के तहत सरकारी नौकरी प्राप्त की.

वानखेड़े ने इन आरोपों से इनकार किया है और उनके पिता ने मंत्री के खिलाफ मानहानि का वाद दायर किया है.

(पीटीआई-भाषा)

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