नई दिल्ली : पूर्वोत्तर राज्यों में कोविड-19 महामारी के खिलाफ लड़ाई में तेजी आई है और इस क्षेत्र में स्टार्टअप्स को बढ़ावा देने के लिए दिए गए फंड का इस्तेमाल स्वास्थ्य के बुनियादी ढांचे का मजबूत करने में उपयोग किया जा रहा है. उत्तर पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्रालय (DoNER) ने यह जानकारी दी है.
नॉर्थ-ईस्ट वेंचर फंड के तहत फंड का एक बड़ा हिस्सा पूर्वोत्तर राज्यों में स्टार्टअप को बढ़ावा देने के उद्देश्य से किया जाता है. लेकिन मंत्रालय के अनुसार इसका उपयोग कोविड से लड़ाई में जैसे- सैनिटाइजर, सैनिटाइजिंग सेवाओं, डिलीवरी सेवाओं, वर्क फ्राम होम और होम-क्वारंटाइन आदि जैसे नवीन समाधानों के लिए किया गया.
उत्तर पूर्वी क्षेत्र के विकास मंत्रालय (DoNER) के अधिकारियों ने गृह मामलों पर एक संसदीय समिति को बताया कि उन्होंने राज्य सरकार के संस्थानों को कोविड से लड़ाई के लिए उनकी आवश्यक सामग्री की आपूर्ति श्रृंखला से जोड़ गया.
समिति ने यह नोट किया कि 29 परियोजनाओं में निवेश की प्रतिबद्धता दर्शाई गई जबकि 32 परियोजनाएं नॉर्थ ईस्ट वेंचर फंड के तहत प्रासेस के विभिन्न चरणों में हैं. समिति का विचार है कि उत्तर-पूर्वी क्षेत्र में स्टार्टअप को बढ़ावा देने के लिए नॉर्थ ईस्ट वेंचर फंड महत्वपूर्ण है. समिति ने जल्द से जल्द निवेश करने की सिफारिश की है जिससे क्षेत्र में व्यावसायिक उद्यमों और कौशल विकास को बढ़ावा मिले.
DoNER मंत्रालय के सहयोग से स्थापित नॉर्थ ईस्ट वेंचर फंड (NEVF) क्षेत्र के उद्यमियों, विशेष रूप से पहली पीढ़ी के उद्यमियों के सामने इक्विटी की कमी को पूरा करने में मदद करेगा. फंड का मुख्य फोकस उत्तर पूर्वी क्षेत्र में उद्यम निर्माण को प्रोत्साहित करने के लिए है. इस प्रकार पूर्वोत्तर क्षेत्र में उद्यमों के पोषण और विकास के लिए आवश्यक पारिस्थितिकी तंत्र के निर्माण में योगदान देना भी है.