नई दिल्ली :केरल में हो रहे लड़कियों के धर्मांतरण पर बनी फिल्म 'द केरल स्टोरी' शुक्रवार को रिलीज होते ही राजनीतिक सियासत गरमा गई है. विपक्षी पार्टियों और कट्टरवादी संगठनों के नेता इस फिल्म पर बैन लगाने की बात कह रहे हैं, वहीं सत्ताधारी पार्टी बीजेपी इस फिल्म पर अकारण विवाद करने का आरोप लगा रहे हैं. यहां तक कि पीएम नरेंद्र मोदी ने कर्नाटक चुनाव प्रचार के दौरान 'द केरला स्टोरी' पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि यह फिल्म एक आतंकी साजिश पर आधारित है. यह आतंकवाद की बदसूरत सच्चाई को दिखाती है और आतंकवादियों के डिजाइन को उजागर करती है. इस संबंध में भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता टॉम वडक्कन (BJP National Spokesperson Tom Vadakkan) ने कहा कि इस फिल्म के आने से पहले ही विवाद पैदा किया गया. उन्होंने कहा कि सेंसर बोर्ड ने पहले ही फिल्म से विवादित हिस्से को हटा दिया है और फिल्म को जाकर बिना देख ही इसे राजनीतिक मुद्दा बनाया जाना तुष्टिकरण की राजनीति है.
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि इस फिल्म पर रिसर्च और काम पिछले सात सालों से चल रहा था और इस फिल्म पर सेंसर बोर्ड ने काफी काम भी किया. उन्होंने कहा कि बिना फिल्म के आए और बिना देखे ही हंगामा शुरू कर दिया गया. हालांकि कुछ जगह से फिल्म को हटा भी दिया गया, क्या ये लोकतंत्र है. उन्होंने सवाल किया यदि ये फिल्म नहीं है तो फिर बीबीसी की डॉक्यूमेंट्री क्या थी जो उस पर हंगामा किया गया. भाजपा ने आरोप लगाया कि केरल में ईसाइयों के खिलाफ एक नाटक दिखाया जा रहा है, लेकिन इस पर ना तो कांग्रेस और ना ही मुख्यमंत्री ने कोई बयान दिया है.