नई दिल्लीःकार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा के दिन सदी का सबसे लंबा आंशिक चंद्र ग्रहण (partial lunar eclipse) लगने जा रहा है. यह चंद्र ग्रहण 19 नवंबर 2021 को लगेगा. यह चंद्रग्रहण वृषभ राशि और कृतिका नक्षत्र में लगेगा. खास बात यह है कि यह चंद्र ग्रहण काफी देर तक रहेगा. जहां वैज्ञानिक दृष्टिकोण से ग्रहण एक खगोलीय घटना है, वहीं धार्मिक दृष्टिकोण में भी इसके अपने प्रभाव हैं. धार्मिक रूप से देखा जाए तो ग्रहण को ज्यादातर अशुभ फल देने वाला माना जाता है और इसी कारणवश ग्रहण के दौरान और सूतक काल लगने पर कई कार्यों को करने की मनाही होती है.
ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि इससे पहले इतना लंबा आंशिक चंद्रग्रहण 18 फरवरी 1440 को लगा था और अगली बार ऐसा ही आंशिक चंद्रग्रहण 08 फरवरी 2669 को दिखाई देगा. साल 2021 का यह आखिरी चंद्रग्रहण भारत में सिर्फ पूर्वोत्तर हिस्सों में कुछ ही देर के लिए दिखाई देगा. सूर्यास्त होते समय ही इस चंद्रग्रहण को अरुणाचल प्रदेश और असम के कुछ क्षेत्रों में देखा जा सकेगा.
ज्योतिषाचार्य ने बताया कि इस दिन कार्तिक पूर्णिमा (Kartik Purnima) भी है. कार्तिक पूर्णिमा पर गंगा स्नान का महत्व है. 19 नवंबर 2021 का ग्रहण वृषभ राशि और कृतिका नक्षत्र में लगेगा. वृषभ राशि के स्वामी ग्रह शुक्र है, जबकि कृतिका नक्षत्र सूर्य देव का है. इस ग्रहण का सबसे अधिक प्रभाव सूर्य ग्रह और शुक्र ग्रह से संबंधित लोगों पर ही पड़ेगा. ग्रहण के दौरान सूर्य देव वृश्चिक राशि में रहेंगे और शुक्र धनु राशि में रहेंगे.