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DGCA Approved Modification: एचएएल के हिंदुस्तान-228 विमान के संशोधन को डीजीसीए की मंजूरी

एचएएल द्वारा निर्मित हिंदुस्तान-228 विमान में संशोधन के लिए डीजीसीए ने मंजूरी दे दी है. यह विमान अधिकतम 5,695 किलोग्राम वजन लेकर टेक-ऑफ कर सकता है.

DGCA Approved Aircraft
DGCA Approved Aircraft

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Published : Feb 28, 2023, 9:19 AM IST

बंगलौर:नागरिक उड्डयन निदेशालय ने देश की प्रमुख केंद्र सरकार के स्वामित्व वाली विमान निर्माता कंपनी एचएएल द्वारा निर्मित 19 यात्री क्षमता वाले 'हिंदुस्तान -228 विमान' के संशोधन को मंजूरी दे दी है. इस नए मॉडल के 19-यात्री सुविधा वाले विमान की अधिकतम टेक-ऑफ वजन क्षमता 5695 किलोग्राम है. 'हिंदुस्तान-228 विमान' कई विशेष सुविधाओं से लैस है, जो अन्य सामान्य विमानों की तुलना में पायलटों के लिए उड़ान भरना आसान बनाता है.

सोमवार को जारी एक मीडिया विज्ञप्ति में, बेंगलुरु में हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड ने पुष्टि की कि केंद्र सरकार के नागरिक उड्डयन निदेशालय (DGCA) ने HAL द्वारा निर्मित 19-यात्री क्षमता वाले 'हिंदुस्तान -228 विमान' के नए मॉडल को मंजूरी दे दी है.

हिंदुस्तान-228 विमान को डीजीसीए की मंजूरी

नया मॉडल 'हिंदुस्तान-228' विमान 5,700 किलोग्राम विमान बेड़े में शामिल हो गया. इस प्रकार के विमानों का रखरखाव कम खर्चीला होता है. एचएएल के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी ने एक विज्ञप्ति में कहा कि नए विमानों में ऑपरेटरों को दर्जनों सहूलियतें मिलेंगी.

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19 यात्रियों की क्षमता वाले एक नए प्रकार के विमान को उड़ाने के लिए एक पायलट को अधिक कौशल की आवश्यकता नहीं होती है. एक कम योग्य पायलट ही काफी है. कमर्शियल पायलट लाइसेंस वाले पायलट को भी इस विमान को उड़ाने की अनुमति है. विज्ञप्ति में कहा गया है कि उड़ान रखरखाव कर्मियों को अतिरिक्त प्रशिक्षण की भी जरूरत नहीं होगी.

आपको बता दें कि एचएएल रक्षा विमानन क्षेत्र में काम करने वाली देश की सबसे बड़ी कंपनियों में से एक है. यह 1940 से रक्षा विमानन क्षेत्र में काम कर रही है. इस समय इसका कुल रेवेन्यू 24 हजार से ज्यादा है. इस कंपनी में 28 हजार से ज्यादा लोग काम करते हैं.

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