हल्द्वानी (उत्तराखंड):दिल्ली के रहने वाले एक छात्र ने ऐसा ड्रोन तैयार किया है, जो भविष्य में भारतीय सेना के लिए कारगर साबित हो सकता है. ड्रोन की खासियत यह है कि यह पूरी तरह से सर्विलांस और जीपीएस से लैस है. यहां तक की माइनस डिग्री सेल्सियस तापमान और रात के अंधेरे में भी ये ड्रोन काम करने में सक्षम है. हल्द्वानी के गोरापड़ाव स्थित रक्षा जैव ऊर्जा अनुसंधान संस्थान (डीआरडीओ) परिसर में आयोजित किसान-जवान विज्ञान मेले में इस ड्रोन की प्रदर्शनी लगाई गई है. जहां ड्रोन की खासियत को लेकर जमकर सराहना की जा रही है.
12वीं के छात्र ने तैयार किया सर्विलांस और GPS से लैस ड्रोन, रक्षा राज्यमंत्री अजय भट्ट और DRDO ने की सराहना - Minister of State for Defense Ajay Bhatt
Drone equipped with surveillance and GPS दिल्ली के 12वीं क्लास के छात्र पार्थ सैनी ने सर्विलांस और जीपीएस से लैस ड्रोन तैयार किया है. पार्थ ने ड्रोन के साथ हल्द्वानी में चल रहे DRDO के किसान-जवान विज्ञान मेले में प्रतिभाग किया है. रक्षा राज्य मंत्री अजय भट्ट और रक्षा क्षेत्र से जुड़े लोगों ने पार्थ की सराहना की है.
Published : Oct 16, 2023, 1:09 PM IST
|Updated : Oct 16, 2023, 2:00 PM IST
दिल्ली के एक निजी स्कूल के 12वीं कक्षा के छात्र पार्थ सैनी द्वारा क्यूब पायलट निगरानी हेक्सा क्राफ्ट ड्रोन तैयार किया गया है, जो सर्विलांस और जीपीएस सिस्टम से लैस है. इस ड्रोन की खासियत ये है कि माइनस डिग्री सेल्सियस में भी इसका प्रयोग किया जा सकता है. खराब होने या बैटरी कम होने की स्थिति में यह ड्रोन अपने रूट से वापस अपने उड़ान वाले स्थान पर पहुंच जाता है. इसके अलावा ड्रोन के सामने किसी तरह की दीवार या कोई रुकावट आने पर ड्रोन खुद ही वापस लौट जाता है. ड्रोन में 20 किलोमीटर दूरी तय करने की क्षमता है. ये दूरी ड्रोन 20 से 25 मिनट में तय कर सकता है. ऑपरेटर एक जगह बैठकर ड्रोन को आसानी से ऑपरेट कर सकता है. ड्रोन में नाइट विजन जोड़ने के लिए एक थर्मल इमेजिंग डिवाइस लगाई गई है, जो नाइट विजन कैमरे से अधिक सटीक है. पार्थ सैनी के मुताबिक यह ड्रोन डिफेंस के क्षेत्र में कारगर साबित हो सकता है.
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पार्थ सैनी के पिता पंकज सैनी का कहना है कि उनका बेटा कक्षा पांच से ड्रोन बना रहा है. आज तक तीन ड्रोन बना चुका है. पहली बार सर्विलांस और जीपीएस युक्त ड्रोन तैयार किया है. वह रक्षा जैव ऊर्जा संस्थान के किसान जवान विज्ञान प्रदर्शनी में प्रतिभा करने पहुंचे हैं. पार्थ द्वारा तैयार किए गए ड्रोन की सराहना रक्षा राज्य मंत्री अजय भट्ट सहित रक्षा से जुड़े कई लोगों ने भी की है. अभी तक इस ड्रोन को कमर्शियल तौर पर पेटेंट नहीं कराया गया है. ड्रोन को तैयार करने में तीन से चार लाख रुपए का खर्च आया है.