दिल्ली

delhi

ETV Bharat / bharat

किसान आंदोलन के 46वें दिन चिल्ला और गाजीपुर बॉर्डर पर 'दंगल'

कृषि कानूनों के विरोध में धरने पर बैठे किसानों ने आज दंगल का आयोजन किया. दंगल का आयोजन गाजीपुर और चिल्ला बार्डर पर किया है. इस दौरान किसान कुश्ती करते नजर आए. विस्तार से पढ़ें पूरी खबर...

चिल्ला-गाजीपुर बॉर्डर
चिल्ला गाजीपुर बॉर्डर

By

Published : Jan 10, 2021, 6:35 PM IST

नई दिल्ली/नोएडा :सरकार के खिलाफ कई दिनों से लगातार धरने पर बैठे किसानों ने आज दंगल का आयोजन किया. यह आयोजन अलग-अलग बॉर्डर पर बैठे किसान संगठनों ने आयोजित किया है. इसी कड़ी में गौतमबुद्ध नगर के चिल्ला बॉर्डर में भी दंगल का आयोजन किया गया, जिसमें खेल के माध्यम से सरकार को यह चुनौती दी कि किसान आर-पार की लड़ाई के पूरे मूड में है और इस दंगल के जरिए वह अपना दमखम दिखा रहे हैं.

गाजीपुर बॉर्डर पर भी किया गया दंगल का आयोजन
गाजीपुर बॉर्डर पर भी दंगल का आयोजन किया गया. दंगल में भाग लेने के लिए हरियाणा, पंजाब और यूपी के पहलवान बुलाए गए थे. ये पहलवान किसान परिवारों से थे, जिन्होंने यहां कुश्ती का दंगल पेश किया.अलग-अलग राउंड में कुश्ती प्रतियोगिता हुई.

चिल्ला बॉर्डर पर किसानों का दंगल

भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय अध्यक्ष शामिल
गाजीपुर बॉर्डरदंगल को देखने के लिए भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेश टिकैत भी पहुंचे. उन्होंने कहा की सरकार की हठधर्मिता लगातार बनी हुई है. अब सभी किसानों के संगठन एक हो चुके हैं. उन्होंने कहा कि असली दंगल होता कैसा है, इसको सरकार को दिखाने के लिए किसानों के परिवार से ही पहलवानों आए हैं.

गाजीपुर बॉर्डर पर दंगल देखने के लिए उमड़ी भारी भीड़

चिल्ला बॉर्डर पर भारतीय किसान यूनियन (भानु) के पदाधिकारियों ने सरकार को चेतावनी देते हुए 26 जनवरी कूंच की बात कही.

किसानों की सरकार को चुनौती

चिल्लाबॉर्डर पर दंगल देखने पहुंचे भारतीय किसान यूनियन भानु के पदाधिकारी बी सी प्रधान ने चेतावनी देते हुए कहा कि किसान मल युद्ध के लिए भी तैयार है. कृषि कानूनों और न्यूनतम समर्थन मूल्य की गारंटी सरकार देती है तो ठीक वरना दो हाथ के लिए किसान तैयार है. किसान डंडा-लाठी की प्रैक्टिस, दंड-पुशअप्स और योग कर फिट हैं और 26 जनवरी को दिल्ली कूंच की तैयारी तेज़ी से हो रही हैं. किसानों के प्रति सरकार की संवेदनाएं मर चुकी हैं. जिस भाषा में सरकार समझेगी उस भाषा में किसान जवाब देने को तैयार हैं. किसान 26 जनवरी को झांकी भी दिखाएंगे.

दंगल कार्यक्रम का आयोजन
दंगल कार्यक्रम के दौरान बड़े-बुजुर्ग, नौजवान और बॉडीबिल्डरों ने दंगल कार्यक्रम में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया है. सभी लोगों ने शक्ति प्रदर्शन करते हुए सरकार को चेताया कि कृषि बिल वापस नहीं हुआ तो परिणाम भुगतने को तैयार रहें.

ABOUT THE AUTHOR

...view details