जयपुर :साइबर ठग अलग-अलग पैंतरे अपनाकर और नए तरीके ईजाद कर लोगों को ठगी का शिकार बनाते हैं. इस बार ठगों ने वैश्विक महामारी कोरोना के वैक्सीनेशन को अपना हथियार बनाते हुए ठगी का नया तरीका अपनाया है. साइबर ठग फर्जी एप और वेबसाइट बनाकर लोगों को ठगी का शिकार बना रहे हैं.
फर्जी वेबसाइट/एप बना रहे
साइबर सिक्योरिटी एक्सपर्ट आयुष भारद्वाज ने बताया कि जब से कोविड वैक्सीनेशन की शुरुआत हुई है तभी से साइबर ठग सरकारी वेबसाइट से मिलते-जुलते नामों का प्रयोग कर कोविड वैक्सीनेशन के ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन के नाम पर धोखाधड़ी कर रहे हैं.
रजिस्ट्रेशन के नाम पर लोगों के आधार कार्ड और अन्य पहचान पत्र की जानकारी मांग कर उनकी निजी जानकारी को डीप वेब पर बेचने का काम किया जा रहा है. इसके साथ ही रजिस्ट्रेशन के नाम पर कुछ शुल्क अदा करने को कह कर भी लोगों से छोटे-छोटे टुकड़ों में राशि ठगी जा रही है.
कोविन से मिलते-जुलते नामों की एंड्राइड एप बना कर ठगी
साइबर सिक्योरिटी एक्सपर्ट आयुष भारद्वाज ने बताया कि साइबर ठग सरकार की ओर से कोविड वैक्सीनेशन के लिए बनाई गई कोविन एप से मिलती जुलती एंड्राइड ऐप बनाकर लोगों से ठगी कर रहे हैं.
एंड्राइड प्लेटफार्म पर ऐसी अनेक एप मौजूद हैं जो साइबर ठगों ने बनाए हैं. इन एप पर वैक्सीनेशन के नाम पर लोगों से 99, 149 और 249 रुपयों की मांग की जा रही है.
इसके साथ ही यह कहकर भी लोगों को ठगी का शिकार बनाया जा रहा है कि वैक्सीनेशन का अमाउंट 300 या 400 रुपए ऑनलाइन पेमेंट या पेटीएम के जरिए जमा कराना होगा जिसे सरकार वापस रिफंड कर देगी. इसके साथ ही जो लोग क्रेडिट या डेबिट कार्ड के जरिए ऑनलाइन पेमेंट कर रहे हैं उनके कार्ड की जानकारी सेव कर ठग बड़ी वारदात को भी अंजाम दे सकते हैं.