नई दिल्ली : कांग्रेस अध्यक्ष मलिल्कार्जुन खड़गे की राय है कि उनकी पार्टी को जम्मू कश्मीर पर एक अलग नजरिया अपनाना पड़ेगा. एक दिन पहले यानी सोमवार को सुप्रीम कोर्ट ने अनुच्छेद 370 के हटाए जाने को सही ठहरा दिया. पांच अगस्त 2019 को मोदी सरकार ने इसे एक एक्ट के माध्यम से हटा दिया था. साथ ही सरकार ने राज्य का बंटवारा कर इसे दो केंद्र शासित प्रदेशों में भी बांट दिया था. सरकार के इसी फैसले पर सुप्रीम कोर्ट ने मुहर लगाई है.
इस फैसले के बाद कांग्रेस अध्यक्ष खड़गे ने अपनी राज्य इकाई (जम्मू कश्मीर) से ग्राउंड स्थिति की समीक्षा करने को कहा है. वहां की जनता की क्या राय है और वे इस फैसले को किस तरह से देखते हैं, इसके आधार पर कांग्रेस आगे की रणनीति तय करेगी. इस आदेश के बाद जम्मू कश्मीर कांग्रेस के राजनीतिक मामलों की कमेटी ने 16 दिसंबर को बैठक करने का फैसला किया है. इस बैठक के बाद पार्टी कार्यकारिणी की भी बैठक होगी.
इस पूरे मसले पर ईटीवी भारत ने कांग्रेस कार्यकारिणी समिति के सदस्य गुलाम अहम मीर से बात की. उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले ने अनुच्छेद 370 के चैप्टर को क्लोज कर दिया, अब हम लोगों को एक नया नैरेटिव ढूंढना पड़ेगा.
उन्होंने कहा, 'हरेक लोग अपने तरीके से इस फैसले को देख रहे हैं. एक राष्ट्रीय पार्टी होने के नाते हमें भी इस स्थिति का आकलन करना है कि कोर्ट के फैसले का जनता पर क्या असर है. सोमवार को कोर्ट ने जो फैसला दिया है, उसको लेकर राज्य में ग्राउंड पर कोई जश्न देखने को नहीं मिला. इसके ठीक उलट एक खामोशी है. धीरे-धीरे कर लोग अनुभव कर रहे हैं कि आखिर उन्होंने क्या खोया है. हमें इस खामोशी को समझना होगा और उसके आधार पर ही एक राय कायम कर जनता से संवाद करना होगा.'