कन्याकुमारी: कांग्रेस विभिन्न मुद्दों पर जनता से सीधे संवाद करने तथा 'आर्थिक विषमता', 'सामाजिक ध्रुवीकरण' और 'राजनीतिक केंद्रीकरण' के खिलाफ मुहिम छेड़ने के मकसद से बुधवार को यहां से अपनी 3,570 किलोमीटर लंबी 'भारत जोड़ो यात्रा' शुरू करेगी. पार्टी की इस यात्रा का उद्देश्य विचारों की लड़ाई में स्वयं को मजबूत बनाना भी है. भारत जोड़ी यात्रा से पहले कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने श्रीपेरंबदूर में राजीव गांधी स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित की.
पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सात सितंबर बुधवार को श्रीपेरुम्बुदूर में पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के स्मारक पर प्रार्थना सभा में हिस्सा लेने के बाद यात्रा की शुरूआत करेंगे. यहीं पर तीन दशक पहले एक आतंकवादी हमले में राजीव गांधी की मृत्यु हो गई थी. राहुल कल शाम कन्याकुमारी के समुद्री तट के निकट एक जनसभा को संबोधित करेंगे और इसके साथ ही इस यात्रा की औपचारिक शुरुआत होगी.
इस दौरान तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम के स्टालिन, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल भी मौजूद होंगे. राहुल को स्टालिन एक राष्ट्र ध्वज सौंपेंगे. कन्याकुमारी में 'गांधी मंडपम' में कार्यक्रम के दौरान भी स्टालिन मौजूद रहेंगे. इसके बाद राहुल गांधी कांग्रेस के अन्य नेताओं के साथ उस सार्वजनिक रैली स्थल पर जाएंगे जहां से यात्रा की औपचारिक शुरुआत होगी.
एक वीडियो संदेश में कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने लोगों से जहां भी संभव हो, यात्रा से जुड़ने का अनुरोध किया है. उन्होंने कहा कि यह यात्रा इसलिए जरूरी है क्योंकि देश में नकारात्मक राजनीति की जा रही है और जनता से जुड़े असली मुद्दों पर चर्चा नहीं की जा रही है. उन्होंने कहा कि यात्रा का उद्देश्य महंगाई, बेरोजगारी जैसे जनता से जुड़े मुद्दों पर ध्यान केंद्रित करना है.
कांग्रेस का कहना है कि उसकी यह यात्रा राजनीतिक है, लेकिन इसका मकसद राजनीतिक लाभ लेना नहीं है, बल्कि देश को जोड़ना है. राहुल गांधी ने गत चार सितंबर को दिल्ली के रामलीला मैदान में कांग्रेस की ‘महंगाई पर हल्ला-बोल’ रैली में इस यात्रा को लेकर कहा था 'मौजूदा समय में विपक्ष के पास जनता से सीधा संवाद करने अलावा कोई रास्ता नहीं बचा है क्योंकि संवैधानिक संस्थाओं पर मोदी सरकार का नियंत्रण है तथा मीडिया के एक बड़े हिस्से पर भी दबाव है. ऐसे में यह यात्रा निकाली जा रही है.'