रायपुर: विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय प्रबंधन समिति की दो दिवसीय बैठक रायपुर में संपन्न हो गई. इस मीटिंग में विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय प्रबंध समिति ने कई प्रस्तावों पर चर्चा की और निर्णय लिए. बैठक में हिंदू परिवार व्यवस्था पर हो रहे प्रहार और बढ़ते लव जिहाद पर चिंता जताई गई. इसके अलावा धर्मांतरण की घटनाओं पर वीएचपी के शीर्ष नेतृत्व और नेताओं ने चिंता जताई है. इन सारे मुद्दों पर ईटीवी भारत ने विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय कार्यालय के वकील आलोक कुमार से खास बातचीत की है.
सवाल: 2 दिनों तक विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय प्रबंध समिति की बैठक चली. मीटिंग में क्या फैसला लिया गया है?
जवाब: बैठक में हमने धर्मांतरण और लव जिहाद की चुनौतियों पर विचार किया है.गाजियाबाद में गेमिंग एप के जरिए पकड़ा गया धर्म परिवर्तन का आरोपी, मूक बधिर बच्चों का धर्म परिवर्तन का प्रयास, स्कूल में प्रेयर के दौरान कलमा पढ़ाना और अपना धर्म छिपाकर हिन्दू बनके प्रेम का नाटक करना फिर शादी कर धर्मांतरण का दबाव बनाने जैसे मुद्दों पर चर्चा हुई. हमने बैठक में यह तय किया है कि आगामी 30 सितंबर से 14 अक्टूबर के बीच देशव्यापी शौर्य जागरण यात्रा बजरंग दल की तरफ से निकाली जाएगी. इस यात्रा के माध्यम से देश के हर कोने में रहने वाले हिंदुओं को संगठित कर उन्हें इन समस्याओं से निपटने में सक्षम बनाया जाएगा. वहीं देश के संतों ने यह निर्णय किया है कि दिवाली के दिनों में गांव और शहरों की अनुसूचित बस्तियों में जाकर, पदयात्रा निकालेंगे. जहां यात्रा पूरी होगी, वहां उपदेश देंगे.राम मंदिर के समय पूरा देश राम में होगा.
सवाल: लिव इन रिलेशनशिप और सेम सेक्स मैरिज कानून को लेकर आपका क्या कहना है?
जवाब: हमें यह लगता है कि "जो कानून था वह व्यभिचार के खिलाफ था. व्यभिचार (एडल्टरी) पांच साल के लिए दंडनीय अपराध था. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि इसे अपराध नहीं माना जाएगा. कोई व्यक्ति अगर किसी की पत्नी के साथ वैविचार करे. बिना विवाह के स्त्री और पुरुष जब तक चाहे साथ रहे. जब चाहे छोड़कर चले जाए. सेम सेक्स के बारे में क्या निर्णय होता है वह देखना होगा. इन सभी चीजों से भी परिवार व्यवस्था कमजोर होती है. परिवार व्यवस्था हमारी संस्कृति का आधार है. सीरियल्स , ओटीटी प्लेटफॉर्म और सोशल मीडिया में जो परोसा जा रहा है. इससे भारत की परिवार व्यवस्था के संस्कार बहुत ज्यादा स्ट्रेस में आए हैं.हम कुटुंब प्रबोधन के द्वारा भारतीय संस्कारों को मजबूत करने का प्रयास करेंगे. बाल संस्कार केंद्रों को बढ़ाएंगे. इसके अलावा एक्स्ट्रा कैरिकुलम एक्टिविटी के नाते गीता रामायण और महाभारत स्कूलों में पढ़ाते हैं परीक्षा लेते है, उस काम को आगे बढ़ाकर हम रिजिस्ट करेंगे.
सवाल: एलजीबीटीक्यू कम्युनिटी प्राइड मंथ मना रहा है उसे लेकर विश्व हिंदू परिषद का क्या कहना है?
जवाब: मेरा कहना है कि उसे कानूनी मान्यता क्यों दी जाए. दो पुरुष शादी करें. यह प्रकृति और परंपरा दोनों के खिलाफ है. सुप्रीम कोर्ट में हिंदू ,मुसलमान और ईसाई संगठनों ने पार्टी बनकर इसका विरोध किया है. मान लीजिए अगर दो युवक शादी करके एक बच्चे को गोद लेते तो क्या वह स्वाभाविक रहेगा. बच्चा मां को नहीं देख पाएगा. अगर दो महिलाएं होंगी तो बच्चा अपने पिता को नहीं देखेगा. मैं समझता हूं कि यह चिंता का विषय है.
सवाल:2003 में विश्व हिंदू परिषद की केंद्रीय बैठक रायपुर में आयोजित हुई थी. 20 साल बाद फिर बैठक हो रही है. 2003 में बैठक के बाद छत्तीसगढ़ में सत्ता परिवर्तन हुई थी. इस बैठक के बाद क्या इस बार भी सत्ता बदलने की कवायद है?
जवाब: हम सत्ता बदलने के लिए नहीं आए हैं. यह निर्णय यहां की जनता को करना है. बैठक चलती रहती है और जहां बैठक होती है वहां कोई ना कोई चुनाव आने वाला होता है. हम उस गणित के आधार पर काम नहीं करते.