नई दिल्ली : किशोरों का कोरोना टीकाकरण (children covid vaccination) शुरू होने पर पर पीएम मोदी ने खुशी जाहिर की है. उन्होंने एक ट्वीट में कहा कि टीके से यूथ सुरक्षित होगा. पीएम मोदी ने कहा, 'मेरे सभी युवा दोस्तों को बधाई (Congrats to all my young friends).'
पीएम मोदी ने लिखा, 'आज हमने अपने युवाओं को COVID-19 से बचाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है. 15-18 आयु वर्ग के मेरे सभी युवा मित्रों को बधाई, जिन्होंने टीका लगाया. उनके माता-पिता को भी बधाई.'
इतने समय में लगेगा सभी किशोरों को टीका
कोविन पोर्टल पर तीन जनवरी की रात 9 बजे तक 51.52 लाख से अधिक किशोरों ने पंजीकरण कराया. स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार पहले दिन 40 लाख से अधिक बच्चों को Covid-19 वैक्सीन लगाई गई. एक अनुमान के मुताबिक प्रतिदिन औसतन 50-60 लाख बच्चों के टीकाकरण के साथ अनुमानित बच्चों की पूरी आबादी को टीका लगाने में तीन सप्ताह लगेंगे.
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने ट्वीट कर कहा कि पहले दिन 40 लाख से अधिक (सोमवार रात आठ बजे तक) किशोरों को कोरोना वैक्सीन लगाई गई. मंडाविया ने भारत के कोरोना टीकाकरण अभियान में पहले दिन 40 लाख प्लस किशोरों के टीकाकरण को एक और उपलब्धि करार दिया. उन्होंने वेल डन इंडिया भी लिखा.
इससे पहले समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक सोमवार अपराह्न तीन बजे तक के आंकड़ों के अनुसार, 15 से 18 वर्ष की आयु के 39.88 लाख से अधिक लाभार्थियों ने कोविन पोर्टल पर पंजीकरण कराया था. सोमवार दोपहर तीन बजे तक देश भर में 12.3 लाख से अधिक बच्चों को कोविड-19 टीके की खुराक दी जा चुकी थी.
युवाओं को प्रेरित करने की पहल
गौरतलब है कि देशभर में 15 से 18 वर्ष के आयु वर्ग के लिए कोरोना टीकाकरण अभियान के पहले दिन लाखों किशोरों ने कोविड-19 रोधी टीके की अपनी पहली खुराक ली. कई लाभार्थियों और उनके माता-पिता ने कहा कि महामारी के मामलों में वृद्धि की पृष्ठभूमि वे इसका बेसब्री से इंतजार कर रहे थे. आकर्षक 'सेल्फी पॉइंट' स्थापित करने से लेकर कल्पनाशील पोस्टर और रंगीन गुब्बारे लगाने तक, नामित टीकाकरण केंद्र, ज्यादातर स्कूल और शैक्षणिक संस्थान, युवाओं के स्वागत के लिए तैयार किए गए थे.
हरमनजोत सिंह जैसे कई युवाओं ने कहा कि वे अपने आयु वर्ग के लिए टीके की अनुमति मिलते ही इसे लगवाने के इच्छुक थे. जम्मू में एक निजी स्कूल में 11वीं कक्षा के छात्र हरमनजोत सिंह ने कहा, 'मैं टीके की अपनी खुराक पाने के लिए इस दिन का इंतजार कर रहा था क्योंकि महामारी ने हमें पिछले लगभग दो वर्षों में ज्यादातर समय अपने घरों में रहने के लिए मजबूर किया. हम जल्द से जल्द स्कूल वापस जाना चाहते हैं.'
स्कूलों में भी सकारात्मक प्रतिक्रिया