नई दिल्ली : कैबिनेट सचिव राजीव गौबा (Cabinet Secretary Rajiv Gauba) ने शनिवार को कहा कि राज्य तथा केंद्रशासित प्रदेश कोविड-19 स्थिति का गहन आकलन करने के साथ ही स्वास्थ्य अवसंरचना को मजूबत करें तथा आवश्यक दवाओं का भंडार रखें और मानव संसाधन में वृद्धि करें. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि आत्मसंतोष के लिए कोई जगह नहीं है.
गौबा ने शनिवार को वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए कोविड प्रबंधन और रणनीति की समीक्षा करने के लिए एक उच्चस्तरीय बैठक की अध्यक्षता की.
बैठक में गौबा ने राज्यों से कहा कि आत्मसंतोष के लिए कोई जगह नहीं है और कोविड उपयुक्त व्यवहार का कड़ाई से पालन किए जाने की आवश्यकता है. अन्य देशों में कोविड-19 के कई बार चरम पर पहुंचने संबंधी उदाहरण देते हुए गौबा ने देश के कुछ हिस्सों में उच्च संक्रमण दर पर चिंता जताई.
उन्होंने महामारी के मामलों में किसी भी संभावित वृद्धि से निटपने के लिए राज्यों के स्वास्थ्य प्रशासकों से जल्द से जल्द कोविड ग्राफ का विश्लेषण करने, स्वास्थ्य अवसंरचनाओं को मजबूत बनाने, आवश्यक दवाओं का भंडार रखने और मानव संसाधन बढ़ाने को कहा.
वहीं, केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने 11 राज्यों में सीरोटाइप-2 डेंगू संबंधी चुनौती को रेखांकित किया, जो बीमारी के अन्य स्वरूपों के मुकाबले अधिक मामलों और जटिलताओं वाला स्वरूप है.
उन्होंने सुझाव दिया कि राज्यों को मामलों का शुरू में ही पता लगाने, बुखार हेल्पलाइन स्थापित करने, पर्याप्त मात्रा में जांच किट, लार्वानाशक और दवाओं का भंडार रखने तथा त्वरित जांच के लिए टीमों की तैनाती करने जैसे कदम उठाए जाने चाहिए.
भूषण ने यह सुझाव भी दिया कि बुखार सर्वेक्षण, संपर्कों का पता लगाने, रोगवाहकों पर नियंत्रण, रक्त और रक्त तत्वों, खासकर प्लेटलेट का पर्याप्त भंडार बनाए रखने के लिए रक्त बैंकों को तैयार रखने जैसी आवश्यक जनस्वास्थ्य कार्रवाई की जानी चाहिए.