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साइकिल चलाकर लंदन से भारत पहुंचा कैंसर पीड़ित लुक ग्रेनफुल्ल, दुनियाभर के लोगों को जागरूक करना मकसद

कहते हैं कि हौसला बुलंद हो तो मंजिल पाना मुश्किल नहीं. इसी कहावत को चरितार्थ कर रहे हैं इंग्लैंड के रग्बी खिलाड़ी लुक ग्रेनफुल्ल शॉ. जो कैंसर पीड़ित होते हुए भी लोगों को जागरूक करने के उद्देश्य से साइकिल से दुनिया की सैर (World Tour by Bicycle) पर निकले हैं. भारत आने से पहले वो पाकिस्तान गए थे. इसके बाद वह चीन जाएंगे, जहां उनकी (Bristol to Beijing) यात्रा संपन्न होगी.

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Published : Feb 8, 2022, 10:58 PM IST

Cancer victim reached India from London by bicycle
साइकिल चलाकर लंदन से भारत पहुंचा कैंसर पीड़ित लुक ग्रेनफुल्ल, दुनियाभर के लोगों को जागरूक करना मकसद

नालंदा:इंग्लैंड निवासी कैंसर पीड़ित लुक ग्रेनफुल्ल शॉ (Cancer Victims Luke Grenfell Shaw) साइकिल से 30 हजार किलोमीटर की यात्रा तय कर भारत पहुंचे हैं. दुनियाभर में कैंसर के प्रति लोगों को जागरूक करने के मकसद से वह पिछले 3 सालों से घूम रहे हैं. अभी तक वह 27 देशों की यात्रा कर चुके हैं. इस दौरान जो भी राशि इकट्ठा होगी, उसे वह कैंसर अस्पताल में दान में देंगे.

लुक ग्रेनफुल्ल ने नालंदा के प्राचीन भग्नावशेष का अवलोकन किया. शॉ यहां कुछ देर ठहरने के बाद कोलकाता के लिए निकल गए. जहां से वह पूरे भारत की साइकिल से यात्रा करेंगे. इसके बाद वे चीन जाएंगें और यह यात्रा संपन्न होगी. इनके हौसले को देखते हुए कोलकाता के तीन युवक इनसे प्रेरित होकर इनका साथ दे रहे हैं.

लंदन के ब्रिस्टल के रहने वाले 28 साल के लुक ग्रेनफुल्ल शॉ कैंसर से पीड़त हैं. उनकी बीमारी चौथे स्टेज तक पहुंच चुकी है. उन्होंने बताया कि जब वे 24 साल के थे, तभी उन्हें पता चला कि वे कैंसर से पीड़ित हैं और वह चौथे स्टेज तक पहुंच चुकी है. वे कहते हैं कि मैंने सोच लिया था कि अब मैं नहीं डरूंगा, बल्कि इसको मात देकर ही मानूंगा. इसके लिए मैं विश्व भ्रमण पर साइकिल से निकल पड़ा.

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इंग्लैंड के रग्बी खिलाड़ी लुक ग्रेनफुल्ल शॉ ने अपने शहर ब्रिस्टाल के नाम से यात्रा का नाम ब्रिस्टाल टू बीजिंग (Bristol to Beijing) रखा है. उनका कहना है कि इस यात्रा से जो भी राशि इकट्ठा होगी, उस राशि को कैंसर अस्पताल में दान देगें. उनके साथ चल रहे कोलकाता के युवक ने बताया कि कैंसर जैसे रोग से पीड़ित होने के बावजूद इन्होंने बहुत बड़ा फैसला लिया है, जोकि दूसरों के लिए प्रेरणा स्रोत है. अब तक वह तुर्की, उज्बेकिस्तान और पाकिस्तान की यात्रा साइकिल से ही कर चुके हैं.

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