विक्टोरिया क्रॉस गब्बर सिंह सेना कैंप को जोड़ने वाला पुल नदी में बहा कोटद्वार:लैंसडाउन वन प्रभाग के कोटद्वार रेंज से निकलने वाली पनियाली नदी ने रौद्र रूप ले लिया. जिससे निचले रिहायशी इलाकों में जलभराव की स्थिति बनी हुई है. नदी के तेज बहाव में कौड़ियां में बना पुल भी धराशाई हो गया है. जिससे विक्टोरिया क्रॉस गबर सिंह सेना कैंप का संपर्क टूट गया है.
विक्टोरिया क्रॉस गब्बर सिंह सेना कैंप का जिला मुख्यालय से टूटा संपर्क विक्टोरिया क्रॉस गब्बर सिंह सेना कैंप का टूटा संपर्क:कोटद्वार नगर निगम वार्ड पार्षद सुभाष पांडे ने बताया कि कौड़ियां पुल टूटने से विक्टोरिया क्रॉस गबर सिंह सेना कैंप का संपर्क टूट गया है. कौड़ियां बस्ती के निचले रिहायशी इलाकों के 300 परिवारों के घरों में जलभराव की स्थिति बनी हुई है. साथ ही पनियाली नदी से लगे घरों में लगभग 4-5 फीट नदी का मलबा भरा पड़ा है. जिससे कौड़ियां वासियों की मुश्किलें बढ़ गई हैं. उन्होंने कहा कि कौड़ियां में बाढ़ जैसी स्थिति होने पर तहसील प्रशासन को सूचना देने के बाद भी अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचे हैं, जबकि सरकार आपदा की घड़ी में बाढ़ प्रभावित को हर संभव मदद करने का दावा कर रही है.
क्यों महत्वपूर्ण है सेना कैंप? दरअसल कौड़ियां स्थिति सेना कैंप में 1 सितम्बर से 10 सितम्बर तक अग्निवीर भर्ती होने जा रही थी. पनियाली नदी पर बने पुल के टूटने से गढ़वाल मंडल अग्निवीर सेना भर्ती प्रभावित हो सकती है. कौड़ियां गबर सिंह कैंप में गढ़वाल रेजिमेंट लैंसडाउन सेना का फायरिंग रेंज और परेड ग्राउंड है. गढ़वाल राइफल लैंसडाउन के अधिकांश भर्ती सेना के जवान एक वर्ष की ट्रेनिंग कोटद्वार गबर सिंह कैंप में ही संपन्न करते हैं. गढ़वाल राइफल सेना के पूर्व अधिकारी ने बताया की कौड़ियां गब्बर सिंह कैम्प में लगभग 200-250 रंगरूट व 100 अधिक सेना के हवलदार, सुबेदार कैंप में ट्रेनिंग के लिए मौजूद रहते हैं.
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पनियालीनदी के रौद्र रूप ने 7 लोगों की ली थी जान:2017 और 2019 में पनियाली नदी के रौद्र रूप ने 7 लोगों की जान ली थी. इस बार नदी के समीप बने घरों में पानी भरने से लोगों की खाद्यान्न सामग्री और कपड़े बर्बाद हो गये हैं. वहीं, सड़कें पर आए मलबा को कोटद्वार नगर निगम के कर्मियों द्वारा हटाकर मार्ग बहाल करने का काम किया जा रहा है. कोटद्वार नगर निगम क्षेत्र में 13 जुलाई को मालन नदी में 3.25 करोड़ का बना पुल तेज बहाव में जमींदोज हो गया था, जबकि ग्रामीण क्षेत्र में लोकमणिपुर के प्रेम नगर गांव का पैदल पुल तेली स्रोत नदी में बह गया था.
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