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कृषि कानूनों को लेकर भाजपा करेगी 700 प्रेस वार्ता, दिल्ली से शुरू हुआ अभियान - भाजपा का अभियान शुरू

कृषि कानूनों को लेकर देशभर में मचे घमासान के बीच भाजपा की देशभर में 700 प्रेस कॉन्फ्रेंस करने की योजना है. शुरुआत सोमवार को नई दिल्ली से हुई. भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा ने विपक्ष को जमकर खरी-खोटी सुनाई.

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Published : Dec 14, 2020, 8:48 PM IST

नई दिल्ली :कृषि कानूनों को लेकर देशभर में किसानों को जागरूक करने के लिए भाजपा 700 प्रेस कॉन्फ्रेंस करेगी. पहली प्रेस कॉन्फ्रेंस की शुरुआत दिल्ली से की गई, भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा ने विपक्ष को जमकर खरी-खोटी सुनाई. विपक्षियों को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि विपक्ष चाहे कृषि कानूनों को लेकर कितना भी माहौल बड़ा बनाए मगर एक के बाद एक स्थानीय चुनाव में भारतीय जनता पार्टी की जीत हो रही है. यह अपने आप में प्रमाण है कि ग्रामीण मतदाताओं में भाजपा कितना लोकप्रिय है.

जनसंपर्क और चौपाल करेगी भाजपा
भाजपा ने ब्लॉक स्तर और जिला स्तर पर भी कार्यक्रम तैयार किए हैं जिसमें जनसंपर्क अभियान और 100 चौपाल की योजना है. इस अभियान की शुरुआत भी जल्दी ही कर दी जाएगी. भाजपा कहीं ना कहीं कृषि कानूनों पर विपक्षियों द्वारा बनाए जा रहे माहौल को लेकर चिंतित है. राजधानी में किसानों के बढ़ते आंदोलन और पार्टी के नेताओं और कार्यालयों को घेरने की किसानों की उद्घोषणा के बाद से ही पार्टी इस मामले में अति सतर्कता बरत रही है.

कुल मिलाकर देखा जाए तो सत्ताधारी पार्टी और सरकार पर किसानों के साथ साथ चौतरफा हमला हो रहा है और इसी बात को लेकर सरकार के समर्थन में सत्ताधारी पार्टी लगातार देशभर में समर्थन जुटाने की कोशिश कर रही है.

किसानों को फायदा होगा : भाजपा
बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता सुदेश वर्मा ने ईटीवी भारत से फिर दावा किया इस कानून से किसान को फायदा होगा. उसे अपने फसल की कीमत मिलेगी और इस कानून से वह कहीं भी अपनी फसल को भेज सकता है. किसान को कोई मजबूर नहीं कर सकता.

कृषि कानूनों से किसान को फायदा होगा

एमएसपी के बारे लोग भ्रम फैला रहे हैं जबकि एमएसपी गारंटी देगा कि किसान को कम से कम उतनी कीमत तो मिले जितनी सरकार ने गारंटी दी है. अगर इससे ज्यादा भी कीमत बाजार में किसान को मिलती है तो उसे मिलनी चाहिए. वह अपने अनाज को कहीं भी भेज सकता है. उन्होंने कहा कि सरकार और पार्टी दोनों आश्वस्त हैं कि वह किसानों को समझाने में सफल होगी कि यह कानून उनके खिलाफ नहीं है.

मंत्रियों ने दो घंटे किया मंथन
सोमवार को कृषि मंत्री के साथ गृह मंत्री की बैठक भी हुई. 2 घंटे चली इस बैठक में आगे की रणनीति पर गंभीरता से विचार विमर्श किया गया. यही नहीं फिक्की द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी सरकार की तरफ से यह बयान दिया कि किसानों से बातचीत के लिए हमेशा ही दरवाजे खुले हैं.

किसान कानून पर भाजपा ने की तैयारी
कहीं ना कहीं पार्टी और सरकार की तरफ से लगातार किसानों को यह संदेश दिए जा रहे हैं कि वह बातचीत के प्लेटफार्म पर आकर ही मामला सुलझाए, मगर जिस तरह राजधानी दिल्ली में सोमवार को किसानों को लेकर राजनीति गरमाई उसे देखकर ऐसा लगता है कि यह मुद्दा विपक्षी पार्टियां जल्दी खत्म होने नहीं देना चाहती.

किसान समितियों ने कहा, वह सरकार के साथ
सोमवार को देश भर से आए अखिल भारतीय किसान समिति के पदाधिकारियों ने जिनमें लगभग 10 राज्यों के किसान शामिल थे सरकार को समर्थन ज्ञापन दिया. कहा कि पंजाब के किसानों द्वारा किए जा रहे प्रदर्शन पूरी तरह से राजनीति से प्रभावित हैं. इस बात को कृषि मंत्री ने मीडिया को भी बताया.

किसान समिति का पत्र

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केजरीवाल ने साधा सरकार पर निशाना
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने दिन भर का धरना और भूख हड़ताल कर पूरी तरह से किसानों के साथ होने का दावा किया. आरोप लगाया कि केंद्र सरकार किसानों को आतंकवादी और खालिस्तानी बताने में जुट गई है. यही नहीं केजरीवाल ने यह तक कह दिया कि इस आंदोलन को अलग रुख देने की कोशिश की जा रही है. जो हमारे अन्नदाता हैं उन्हें आतंकवादी चीन और पाकिस्तान का एजेंट बताया जा रहा है जबकि किसानों का आंदोलन पवित्र है.

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