हैदराबाद : देश की तमाम छोटी-बड़ी घटनाओं पर हमारी नजर बनी हुई है. अब आप बस एक क्लिक में देश की बड़ी घटनाओं को आसानी से पढ़ सकते हैं.
- पीएम मोदी ने अंडमान-चेन्नई ऑप्टिकल फाइबर केबल का किया उद्घाटन
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से चेन्नई और पोर्ट ब्लेयर को जोड़ने वाली सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर केबल को राष्ट्र को समर्पित किया. इससे देश के अन्य हिस्सों के साथ अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में तेज और अधिक विश्वसनीय मोबाइल व लैंडलाइन दूरसंचार सेवाएं मिल सकेंगी.
2. सुशांत सिंह केस : ईडी की कार्रवाई तेज, रिया सहित चार लोगों से पूछताछ जारी
प्रवर्तन निदेशालय(ईडी) अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत सुसाइड केस से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में सोमवार को अभिनेत्री रिया चक्रवर्ती, उसके पिता इंद्रजीत चक्रवर्ती, उसके भाई शौविक चक्रवर्ती को पूछताछ के लिए बुलाया. इससे पहले भी इन सभी से पूछताछ हो चुकी है. सीबीआई ने छह लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है. रिया ईडी के दफ्तर पहुंच चुकी हैं. जानकारी के अनुसार पूछताछ के लिए श्रुति मोदी (सुशांत की पूर्व बिजनेस मैनेजर) प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) कार्यालय पहुंची.
3. देशभर में 24 घंटों में कोरोना के 62,064 नए मरीज, पहली बार 1000 से अधिक मौतें
भारत में कोविड-19 के एक दिन में रिकॉर्ड 62,064 नए मामले आने के साथ ही सोमवार को संक्रमण के कुल मामले 22 लाख का आंकड़ा पार कर गए. वहीं 24 पिछले घंटों में 1007 मरीजों की मौत हुई है.
4. पानी बचाने के लिए नीति-नीयत जरूरी, राह दिखा रहा शिमला का आईआईएएस
जीवन के लिए पानी बेहद जरूरी है, लेकिन पानी का लगातार दोहन हो रहा है, जिसके चलते देश के कई इलाकों में धरती का पानी सूख चुका है. कई संस्थाएं और सरकारें पानी बचाने की मुहिम का दावा तो करती हैं, लेकिन हकीकत किसी से छिपी नहीं है. सवाल यह है कि क्या जल संरक्षण वाकई मुश्किल है, जिन्हें जल संरक्षण रॉकेट साइंस लगता है उनके लिए शिमला का इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ एडवांस स्टडीज सबसे बेहतरीन उदाहरण है, जिस जल संरक्षण के लिए सरकारें माथापच्ची कर रही हैं. उसके लिए अंग्रेजो ने 132 बरस पहले ही एक ऐसा सिस्टम तैयार कर लिया था जो आज भी काम कर रहा है.
5. पर्यावरण प्रभाव आकलन का मसौदा वापस ले सरकार: राहुल
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने ईआईए ड्राफ्ट को लेकर मोदी सरकार पर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार देश के संसाधन लूटने वाले चुनिंदा सूट-बूट के 'मित्रों' के लिए क्या-क्या करती आ रही है