नई दिल्ली :भारत में महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराधों के मद्देनजर, अखिल भारतीय महिला कांग्रेस ने शुक्रवार को राष्ट्रीय राजधानी में मंडी हाउस से जंतर-मंतर तक 'मैं साहस हूं' मार्च निकाला.
हाथों में मोमबत्तियाँ पकड़े और माथे पर काले कपड़े बांधते हुए, सैकड़ों महिलाओं ने भाजपा सरकार और उन लोगों के खिलाफ नारे लगाए, जिन पर बलात्कार के इतने जघन्य अपराध का आरोप है.
महिला सुरक्षा को लेकर AIMC ने निकाला मार्च ईटीवी भारत से बात करते हुए, हरियाणा प्रदेश कांग्रेस कमेटी की प्रमुख, कुमारी शैलजा ने कहा कि महिला कांग्रेस ने इस मार्च का आयोजन किया है.
महिलाओं के खिलाफ अत्याचार दिन-प्रतिदिन बढ़ रहे हैं. जब तक भाजपा सरकार इन अपराधों के आरोपियों के खिलाफ कुछ सख्त कार्रवाई नहीं करती है, संख्या बढ़ती रहेगी.
इस सरकार को हमारे देश के बलात्कार पीड़ितों के लिए प्रचलित न्याय का एक उदाहरण स्थापित करने की आवश्यकता है.
कांग्रेस प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेट ने कहा कि महिलाओं के खिलाफ जिस तरह का अपराध हम देख रहे हैं वह बहुत ही घृणित है. हमें, महिलाओं के लिए, अपनी आवाज उठाने के लिए एक साथ आने की जरूरत है. हम पीड़ित नहीं हैं, हम इन अपराधों के लिए झुकने वाले नहीं हैं.
एकजुटता मार्च का नेतृत्व AIMC अध्यक्ष सुष्मिता देव ने किया. कुमारी शैलजा और अलका लांबा भी इस मार्च में शामिल हुईं.
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अखिल भारतीय महिला कांग्रेस कमेटी ने की अध्यक्ष सुष्मिता देव ने किया राहुल का राहुल गांधी का समर्थन साधा स्मृति पर निशाना
आज अखिल भारतीय महिला कांग्रेस कमेटी की अध्यक्ष सुष्मिता देव ने केंद्रीय महिला बाल विकास मंत्री स्मृति इरानी पर पलटवार किया.
दरअसल कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने केंद्र सरकार को देश में बढ़ते बलात्कारों के लिए जिम्मेदार ठहराया था, और उन्नाव रेप केस पर सरकार की चुप्पी पर सवाल उठाए थे. जिसे लेकर स्म़ति इरानी ने राहुल गांधी के बयान का लोकसभा में विरोध किया था.
इस दौरान सुष्मिता देव ने राहुल गांधी की बात का समर्थन करते हुए कहा कि अगर हम रैली में बेरोगारी और किसान जैसे मुद्दों पर बात कर सकतें हैं तो फिर महिला सुरक्षा की बात क्यों नहीं कर सकते.
सुष्मिता देव की प्रेस कॉन्फ्रेस उन्होने कहा कि पहले जब हम अखबार पढ़ते थे, तो हमें भारत के बारे में अच्छी बातें पता चलती थीं. लेकिन आज हमारे देश के अखबार की हेडलाइन रेप इन इंडिया आ रही है. तो राहुल गांधी ने सवाल उठा कर क्या गलत किया है.
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उन्होने निर्भया केस की में देरी को लेकर केेद्रीय मेंत्री स्मृति इरानी पर सवाल उठाए. उन्नाव में हुए कांड पर निशाना साधते हुए देव ने कहा कि जब एक पिड़िता को घर के बाहर धमकी पत्र चिपकाया जाता है, फिर उसे कचहरी जाते वक्त जला दिया जाता है.
उस समय हमारे प्रधानमंत्री और महिला और बाल विकास मंत्री के मुंह से एक भी शब्द नहीं निकलता है.
सुष्मिता देव ने आगे कहा कि सदने में भाजपा की तरफ से बोलने वाली महिलाओं को उन सांसदों के खिलाफ भी बोलना चाहीए जो उनकी अपनी पार्टी में हैं और उनपर इस तरह के संगीन आरोप हैं.
सुष्मिता देव ने राहुल गांधी द्वारा महिलाओं के मुद्दों को उठाने के लिए उनका आभार व्यक्त किया.