नई दिल्ली : नागरिकता (संशोधन) बिल के पास होने के बाद धार्मिक गुरू स्वामी अग्निवेश ने कहा है कि धर्म व जाति के नाम पर जितने भी बंटवारे हुए हैं वह सभी ईश्वर विरोधी हैं. बता दें कि नागरिकता (संशोधन) बिल, 2019 बुधवार को राज्यसभा में भी पास हो गया. इस विधेयक के पक्ष में 125 जबकि विरोध में 105 वोट पड़े.
ईटीवी बारत से बात करते हुए स्वामी अग्निवेश ने कहा कि इस बिल से हमें नुकसान होने वाला है और धर्म व जाति के नाम पर जितने भी बंटवारे हुए हैं वह सभी ईश्वर विरोधी हैं.
ईटीवी भारत से बात करते स्वामी अग्निवेश उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने यह बिल 'फ्लोर मैनेजमेंट' करके सदन से पास करा लिया, हमें यदि भारत को हिंदू राष्ट्र बनाना होता तो आजादी के तुरंत बाद बना सकते थे, लेकिन ऐसा नहीं हुआ.
उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी, जवाहरलाल नेहरू और मौलाना आजाद जैसे लोगों ने हमारे देश के मुसलमानों को जिन्ना के बहकावे में नहीं आने दिया और 80% मुसलमान आज़ादी के बाद भारत में ही रही.
स्वामी अग्निवेश ने कहा कि यदि विपक्षी पार्टियां एकजुट होकर इस बिल का सदन में विरोध करती और इस बिल के खिलाफ वोट करती तो शायद यह बिल पास नहीं होता, लेकिन कई विपक्षी पार्टियां जैसे कि बीजेडी, एआईडीएमके समेत कई ऐसी विपक्षी पार्टियां हैं, जिन्होंने अपने निजी फायदे के लिये भाजपा का साथ कि दिया और इस बिल को पास कराया.
उन्होंने विपक्षी दालों पर कटाक्ष करते हुए कहा कि यदि यह सभी पार्टियां एक झंडे के नीचे आकर संगठित नहीं होगी तो फिर आने वाले समय में इन सभी पार्टियों के लिए भाजपा मुसीबत साबित होगी और इनका वर्चस्व जड़ से खत्म हो जाएगा.
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स्वामी अग्निवेश ने कहा कि मौजूदा सरकार ध्रुवीकरण की राजनीति कर रही है और ऐसे में हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई सभी धर्मों के लोगों को एकजुट होकर सामने आना चाहिए और यह बताना चाहिए कि उन्हें धर्म के आधार पर इस देश में किसी तरह का बंटवारा मंजूर नहीं है.
इसके साथ ही स्वामी अग्निवेश ने मौजूदा सरकार पर देश में बढ़ती महंगाई, बेरोजगारी, गरीबी, किसानों की परेशानियों, और कमर तोड़ती अर्थव्यवस्था जैसे मुख्य मुद्दों से भटकाने का आरोप लगाया और इसके साथ ही देश के युवाओं से संगठित होकर धर्म के नाम पर एकजुट होने की बात कही.