हैदराबाद : भारतीय रिजर्व बैंक ने मंगलवार को ओवरड्राफ्ट सुविधा की छूट की समय सीमा बढ़ा दी है. इसके साथ ही राज्यों को उधार लेने के लिए वेज एंड मीन्स एडवांस (डब्ल्यूएमए) छूट अवधि में भी अगले छह माह का विस्तार किया है.
अच्छी तरह से तय किए गए मानदंडों के अनुसार, राज्य अपने कर्ज प्रवाह में किसी भी तरह का तालमेल गड़बड़ाने की स्थिति में कामकाज जारी रखने के लिए रिजर्व बैंक से कर्ज, अग्रिम (वेज एंड मीन्स एडवांस) और ओवरड्राफ्ट की सुविधा का लाभ उठाते हैं. यह एक विशेष तौर पर उपयोगी साधन है, जो राज्यों को वेतन और मजदूरी का समय पर भुगतान करने और अन्य अनिवार्य कामों पूरा करने में मदद करता है.
रिजर्व बैंक की ओर से राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को वेज एंड मीन्स एडवांस (डब्ल्यूएमए ) एवं ओवर ड्राफ्ट की छूट की समय सीमा 30 सितंबर को समाप्त हो रही थी, लेकिन रिजर्व बैंक ने इसे छह महीने तक बढ़ाने का फैसला किया, क्योंकि महामारी के समाप्त होने का कोई संकेत नहीं दिख रहा है.
रिजर्व बैंक की ओर से एक बयान में कहा गया कि एक समीक्षा के बाद राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को ओवरड्राफ्ट और डब्ल्यूएमए की सीमा में वृद्धि के संबंध में सात अप्रैल 2020 और 17 अप्रैल 2020 को घोषित उपर्युक्त उपायों को और छह महीने के लिए, यानी 31 मार्च, 2021 तक बढ़ाने का निर्णय लिया गया है. आरबीआई ने कहा कि अन्य सभी शर्तें पहले वाली ही रहेंगी.