मुंबई : महाराष्ट्र में देवेंद्र फडणवीस की सरकार बनने के बाद कांग्रेस-एनसीपी-शिवसेना ने तीखी प्रतिक्रिया दी है. एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार ने कहा कि भाजपा के पास विधायकों की संख्या नहीं है. जीत हमारी ही होगी. उनके साथ संयुक्त पीसी में शिवसेना सुप्रीमो उद्धव ठाकरे भी मौजूद थे. इस पीसी में कांग्रेस शामिल नहीं हुई.
प्रेस कांफ्रेंस में शरद पवार ने कहा, 'तीनों पार्टियों ने सरकार बनाने का फैसला लिया था. इसमे कुछ निर्दलीय विधायकों का भी हमें समर्थन मिला था. हमारे पास करीब 170 विधायकों का समर्थन प्राप्त था. हमें मालूम चला कि अजित पवार मंत्री पद का शपथ ले रहे हैं. हमें इसकी जानकारी तड़के हुई थी.'
एनसीपी मुखिया ने कहा, 'अजित पवार ने जो भी फैसला लिया, वह उनका खुद का निर्णय था. एनसीपी अजित पवार के साथ नहीं है.'
शिवसेना और एनसीपी की संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस. शरद पवार ने कहा, 'अजित पवार ने जो फैसला लिया, वह पार्टी की विचारधारा के खिलाफ है. हमें जो एक्शन लेना होगा, हम वह लेंगे.'
पवार ने यह भी कहा कि कुछ विधायक बीजेपी से संपर्क में हैं. विधायकों को दलबदल कानून के बारे में जानकारी होनी चाहिए.
इस प्रेस कांफ्रेंस में अजित पवार के साथ राजभवन गये कुच विधायक भी मौजूद थे. उन्हीं में एक राजेंद्र शिंगने ने कहा कि उन्हें शपथ ग्रहण के बारे में कोई जानकारी नहीं थी. उन्होंने कहा कि वह शरद पवार के साथ हैं.
शरद पवार ने कहा, 'अजित के पास 54 विधायकों के हस्ताक्षर वाली चिट्ठी थी. अजित के साथ गये कुछ विधायकों ने हमसे सम्पर्क किया.'
पवार ने कहा कि बीजेपी सदन में बहुमत साबित नहीं कर पाएंगी. अजित पवार पर उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी की अनुशासनात्मक कमेटी अजित पर कार्रवाई करेगी.
पीसी में मौजूद शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने कहा, 'जो खेल चल रहा है, उसे पूरा देश देख रहा है. हम जो करते हैं, दिन के उजाले में करते हैं.'
उन्होंने बीजेपी का नाम लिए बगैर कहा, 'वे लोगों को तोड़ते हैं, हम जोड़ते हैं.'
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गौरतलब है कि राज्य में नई सरकार के गठन को लेकर कई दिनों से राजनीतिक उठापटक जारी है. जनता ने चुनाव में किसी को स्पष्ट जनादेश नहीं दिया. बीजेपी के सरकार बनाने से इनकार के बाद राज्यपाल ने शिवसेना को सरकार बनाने के लिए आमंत्रित किया था. लेकिन समय रहते वह समर्थन नहीं जुटा सकी. बाद में यही मौका एनसीपी को मिला. एनसीपी ने भी अधिक समय की मांग कर दी, लेकिन राज्यपाल इस फैसले से सहमत नहीं दिखे. उसके बाद राज्य में राष्ट्रपति शासन लगा दिया गया.
इस बीच कांग्रेस-एनसीपी-शिवसेना के बीच सरकार गठन पर बातचीत जारी रही. शुक्रवार को तीनों पार्टियां उद्धव ठाकरे को सीएम बनाने पर एकमत हो गयी थीं. इसी बीच फडणवीस के शपथ ग्रहण की खबरें आ गयीं.
चौंकाने वाली बात ये रही है कि अजित पवार ने एनसीपी को तोड़ने का दावा किया है. इसमें कितनी सच्चाई है, यह जल्द ही पता चल जाएगा.
अजित पवार ने शिवसेना की पीठ में छुरा घोंपा : संजय राउत
दूसरी तरफ शिवसेना के वरिष्ठ नेता संजय राउत ने शनिवार को कहा कि राकांपा नेता अजित पवार ने महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए भाजपा से हाथ मिला कर शिवसेना की पीठ में छुरा घोंपा है.
राउत ने यहां पत्रकारों से यह भी कहा कि राज्य अजित पवार को उनके इस कृत्य के लिए कभी माफ नहीं करेगा.
उन्होंने कहा, 'अजित पवार ने शिवसेना की पीठ में छुरा घोंपा है. सरकार बनाने के लिए भाजपा से हाथ मिलाना विश्वासघात है. अजित पवार के फैसले में राकांपा प्रमुख शरद पवार की मंजूरी नहीं है.'